Parliament Winter Session: "यह लोकतंत्र के लिए अच्छा नहीं है", मल्लिकार्जुन खड़गे ने संसद से सांसदों के निलंबन पर कहा
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: December 19, 2023 01:37 PM2023-12-19T13:37:00+5:302023-12-19T13:40:16+5:30
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने संसद के दोनों सदनों से 141 विपक्षी सांसदों के निलंबन को बेहद दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि यह लोकतंत्र के लिए बहुत अच्छी बात नहीं है।
नई दिल्ली: कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने संसद के दोनों सदनों से 141 विपक्षी सांसदों के निलंबन को बेहद दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि यह लोकतंत्र के लिए बहुत अच्छी बात नहीं है। राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने मंगलवार को केंद्र में सत्ता की अगुवाई करने वाली भारतीय जनता पार्टी पर तीखा हमला बोला और कहा कि संसद में जो कुछ हो रहा है, वह लोकतंत्र के लिए बेहद शर्मनाक है।
समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को संसद के मौजूदा शीतकालीन सत्र से सांसदों के निलंबन के खिलाफ संसद परिसर के अंदर महात्मा गांधी की प्रतिमा के सामने विरोध प्रदर्शन किया।
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार के नेतृत्व में विपक्षी प्रदर्शनकारियों ने प्लेकार्ड ले रखा था। जिन पर लिखा था, "लोकतंत्र घेरे में है, हम पिंजरे में नहीं बंधेंगे," और "प्रधानमंत्री और गृह मंत्री चुप क्यों हैं"
कांग्रेस प्रमुख खड़गे ने कहा, "यह लोकतंत्र के लिए अच्छा नहीं है। यह संसद का अपमान है। वे हमें डराने के लिए सांसदों को निलंबित कर रहे हैं।"
उन्होंने कहा, "लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह सदन में आना नहीं चाहते थे। वे संसद के चालू सत्र के बीच वाराणसी और अहमदाबाद में व्याख्यान दे रहे हैं। अब तक कई सांसदों ने संसद में अपनी राय रखने की कोशिश की है।"
समाजवादी पार्टी के सांसद राम गोपाल यादव ने कहा, "जिस तरह से सांसदों को निलंबित किया जा रहा है, ऐसा लगता है कि सत्तारूढ़ दल विपक्ष को एक गैर-इकाई के रूप में देखते हैं।"
निलंबित विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को भी संसद के मकर द्वार पर सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया। विरोध प्रदर्शन में कांग्रेस नेता सोनिया गांधी भी शामिल हुईं।
कांग्रेस सांसद दिग्विजय सिंह ने कहा कि बीजेपी लोकतंत्र की अवधारणा से बिल्कुल अनजान है। उन्होंने कहा, "देश के प्रधानमंत्री के रूप में नरेंद्र मोदी जिस भाजपा का प्रतिनिधित्व करते हैं, वह लोकतंत्र की अवधारणा से बिल्कुल अनजान है। यह संसदीय लोकतंत्र को खत्म करने के लिए एक पूर्व नियोजित हमला था। वे हिटलर के उदाहरण का अनुसरण कर रहे हैं। क्या होगा यदि यह धुआं बम 'सरीन' जैसी जहरीली गैस थी, अगर यह फिदायीन होती तो क्या होता? सभी सदस्यों की जान जा सकती थी।"
मालूम हो कि मंगलवार को कार्यवाही फिर से शुरू होने में बमुश्किल कुछ मिनट बाद संसद सुरक्षा उल्लंघन की घटना और साथी सदस्यों के बड़े पैमाने पर निलंबन पर विपक्षी सांसदों के हंगामे के बाद लोकसभा और राज्यसभा दोनों को स्थगित कर दिया गया। इसके बाद दोनों सदनों को दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया है।