पटना: केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने रविवार को भाजपा के प्रदेश कार्यालय में आयोजित एक प्रेस कांफ्रेंस में राजद पर जोरदार हमला करते हुए कहा कि जंगलराज में बारे में बिहार की जानता सोच कर आज भी कांप जाती है। उन्होंने आरोप लगाया कि 15 वर्षों में 32 हजार से अधिक अपहरण की घटना राजद के शासनकाल में हुआ। लालू-राबड़ी की सरकार 18 हजार 126 से ज्यादा हत्याएं हुई थीं। ये सरकारी आंकड़ा है वरना हत्याएं तो काफी ज्यादा हुई थीं। उन्होंने कहा कि उस समय प्राथमिकी नहीं दर्ज की जाती थी।
नित्यानंद राय ने आरोप लगाया कि लालू-राबड़ी के शासनकाल (1990-2005) में राज्य में कानून-व्यवस्था पूरी तरह चरमरा गई थी। सरकारी आंकड़ों का हवाला देते हुए उन्होंने बताया कि(1990-2005) के दौरान 32 हजार से अधिक अपहरण, 18,126 से ज्यादा हत्याएं और 59 नरसंहार हुए। उन्होंने कहा कि उस समय हत्याओं के मामलों में प्राथमिकी तक नहीं दर्ज होती थी, और चुनाव के दौरान गरीबों को मतदान केंद्र तक जाने से रोका जाता था।
उन्होंने दावा किया कि इस दौरान 50 ईमानदार पुलिसकर्मियों की भी हत्या चुनाव में हुई थी, जो कानून का पालन कर रहे थे। नित्यानंद राय ने कहा कि 1990 से 2005 के बीच 59 नरसंहार हुए थे। राजद के शासनकाल में चुनाव में समय 700 लोगों की हत्या हुई थी। उन्होंने कहा कि गरीबों को बूथ पर जाने से नही रोकने वाले पुलिसकर्मियों की हत्या कर दी जाती थी।
नित्यानंद राय ने आरोप लगाया कि महिलाओं के साथ सामूहिक दुष्कर्म होता था। सब अपराधियों को संरक्षण देने वाली लालू-राबड़ी की सरकार और मुख्यमंत्री आवास होता था। पहले के समय में सरकार ही अपराधी थी, अब बिहार उस दिन को देखना भी नहीं चाहता है।
नित्यानंद राय ने तेजस्वी यादव को सीधी चुनौती देते हुए कहा कि अगर हिम्मत है तो स्वीकार करो कि तुम्हारे माता-पिता के शासन में जंगलराज था और जनता के सामने जाकर जवाब दो। उन्होंने चेतावनी दी कि जनता अब उस अंधकारमय दौर को दोबारा नहीं देखना चाहती। इस बार जनता तेजस्वी की राजनीति को चित कर देगी।