महबूबा मुफ्ती के आरोपों पर जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने कहा, "किसी भी बाहरी व्यक्ति को जमीन आवंटित नहीं की जा रही"

By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: July 6, 2023 01:20 PM2023-07-06T13:20:07+5:302023-07-06T13:23:32+5:30

जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती के उन आरोपों का खंडन किया है, जिसमें मुफ्ती ने आरोप लगाया था कि प्रशासन जम्मू-कश्मीर में बाहरी व्यक्तियों को जमीन का आवंटन कर रही है।

On Mehbooba Mufti's allegations, Jammu and Kashmir administration said, "Land is not being allotted to any outsider" | महबूबा मुफ्ती के आरोपों पर जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने कहा, "किसी भी बाहरी व्यक्ति को जमीन आवंटित नहीं की जा रही"

महबूबा मुफ्ती के आरोपों पर जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने कहा, "किसी भी बाहरी व्यक्ति को जमीन आवंटित नहीं की जा रही"

Highlightsजम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती के आरोपों का खंडन किया जम्मू-कश्मीर शासन ने कहा कि यहां पर किसी भी बाहरी व्यक्ति को जमीन का आवंटन नहीं हो रहा है मुफ्ती ने कहा था कि प्रशासन बेघरों को घर मुहैया कराने के नाम पर जनसांख्यिकी बदलना चाहता है

कश्मीर: जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती के उन आरोपों का खंडन किया है, जिसमें मुफ्ती ने आरोप लगाया था कि प्रशासन जम्मू-कश्मीर में बाहरी व्यक्तियों को जमीन का आवंटन कर रही है। इस संबंध में जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने स्पष्टीकरण जारी करते हुए कहा है कि केंद्र शासित प्रदेश में किसी भी बाहरी व्यक्ति को जमीन आवंटित नहीं की जा रही है और कानून में कोई बदलाव नहीं किया गया है।

इससे पूर्व महबूबा मुफ्ती ने आरोप लगाते हुए कहा था कि प्रशासन बेघरों को घर मुहैया कराने के नाम पर क्षेत्र की जनसांख्यिकी को बदलने की चाल चल रहा है। पूर्व मुख्यमंत्री ने यह आरोप इस कारण लगाया था क्योंकि उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सोमवार को कहा कि जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने प्रधानमंत्री आवास योजना (पीएमएवाई) के तहत भूमिहीन परिवारों को उनके घर के निर्माण के लिए 150 वर्ग गज के भूखंड उपलब्ध कराना शुरू कर दिया है।

उपराज्यपाल सिन्हा ने कहा था, "ग्रामीण विकास विभाग ने 1.83 लाख बेघर गरीब परिवारों की पहचान की है, जिनके पास अपना घर नहीं है। हम इस पर काम कर रहे हैं। यह एक ऐसा कदम है जो न केवल उन्हें घर मुहैया कराएगा बल्कि उनके जीवन में बदलाव लाएगा।"

उपराज्यपाल मनोज सिंह के इस ऐलान से पहले केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर में 2,711 भूमिहीन परिवारों को पहले ही भूमि आवंटित की जा चुकी है। वहीं बीते बुधवार को प्रेस कांफ्रेंस करके महबूबा ने उपराज्यपाल सिन्हा पर आरोप लगाया कि प्रशासन पर बेघर लोगों को आवास प्रदान करने के बहाने पूर्ववर्ती राज्य में मलिन बस्तियों और गरीबी को बाहर से बुला रहा है और इस तरह से जम्मू-कश्मीर की जनसांख्यिकी को बदलने का प्रयास किया जा रहा है।

उन्होंने कहा, "एलजी ने जम्मू-कश्मीर में 1.99 लाख भूमिहीन लोगों को जमीन देने की घोषणा की। जम्मू-कश्मीर में ये भूमिहीन लोग कौन हैं, इसे लेकर संदेह और चिंताएं सामने आ गई हैं। जबकि संसद के सामने रखे गए केंद्र सरकार के आंकड़ों के मुताबिक जम्मू-कश्मीर में केवल 19,000 बेघर परिवार हैं।”

महबूबा के इन आरोपों के कुछ घंटों बाद जम्मू-कश्मीर प्रशासन के आधिकारिक प्रवक्ता ने प्रेस से कहा, "सुश्री मुफ्ती का यह बयान कि सरकार दो लाख लोगों को जमीन आवंटित कर रही है, तथ्यात्मक रूप से गलत है और उनके द्वारा दिए गए सभी बयान पीएमएवाई योजना और जम्मू-कश्मीर के राजस्व कानूनों की समझ के बिना दिये गये हैं, जो इसकी अनुमति देते हैं।"

आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा, "इसलिए न तो कानून में कोई बदलाव किया गया है और न ही किसी बाहरी व्यक्ति को जमीन आवंटित की जा रही है।"

Web Title: On Mehbooba Mufti's allegations, Jammu and Kashmir administration said, "Land is not being allotted to any outsider"

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