कलकत्ता उच्च न्यायालय से धोखाधड़ी मामले में BJP नेता मुकुल राय को राहत, पांच सितंबर तक नहीं की जाएगी गिरफ्तारी
By भाषा | Published: August 30, 2019 06:07 AM2019-08-30T06:07:46+5:302019-08-30T06:07:46+5:30
भाजपा के वरिष्ठ नेता के वकील बिकास भट्टाचार्य ने कहा कि गांगुली ने प्राथमिकी में आरोप लगाया कि घोष ने राय का नाम लेते हुए उन्हें एक रेलवे पैनल की सदस्यता का आश्वासन दिया था और उनसे 70 लाख रुपये से अधिक की रिश्वत स्वीकार की थी।
कलकत्ता उच्च न्यायालय ने बृहस्पतिवार को भाजपा के वरिष्ठ नेता मुकुल राय को धोखाधड़ी से संबंधित एक मामले में पांच सितंबर तक गिरफ्तारी से राहत प्रदान कर दी। यह मामला रेलवे के एक पैनल की सदस्यता के लिए पैसे दिए जाने से संबंधित है। धोखाधड़ी का यह मामला संतू गांगुली नामक एक व्यक्ति ने बबन घोष के खिलाफ दायर की है।
घोष का दावा था कि वह भाजपा की स्थानीय श्रम इकाई का नेता है। राय ने इस मामले में उच्च न्यायालय का रुख किया और अग्रिम जमानत का अनुरोध किया। भाजपा के वरिष्ठ नेता के वकील बिकास भट्टाचार्य ने कहा कि गांगुली ने प्राथमिकी में आरोप लगाया कि घोष ने राय का नाम लेते हुए उन्हें एक रेलवे पैनल की सदस्यता का आश्वासन दिया था और उनसे 70 लाख रुपये से अधिक की रिश्वत स्वीकार की थी।
कोलकाता पुलिस ने पिछले हफ्ते इस मामले में घोष को गिरफ्तार कर लिया। इसके बाद राय ने अग्रिम जमानत के लिए उच्च न्यायालय का रुख किया। न्यायमूर्ति एस मुंशी और न्यायमूर्ति एस दासगुप्ता की खंडपीठ ने बृहस्पतिवार को महाधिवक्ता किशोर दत्ता के अनुरोध पर मामले में सुनवाई स्थगित कर दी।
पीठ ने कहा कि इस मामले की सुनवाई दो सितंबर को होगी और राज्य सरकार को निर्देश दिया कि राय को पांच सितंबर तक गिरफ्तार नहीं किया जाए।