महाराष्ट्र सरकार नागपुर में ऑक्सीजन उत्पादन इकाई या संयंत्र लगाने पर गौर करे: अदालत
By भाषा | Published: April 12, 2021 08:04 PM2021-04-12T20:04:10+5:302021-04-12T20:04:10+5:30
नागपुर, 12 अप्रैल बंबई उच्च न्यायालय की नागपुर पीठ ने सोमवार को महाराष्ट्र सरकार से कोविड-19 मरीजों के वास्ते नागपुर में ऑक्सीजन उत्पादन इकाई या संयंत्र लगाने पर गौर करने को कहा ।
न्यायमूर्ति जेड ए हक और न्यायमूर्ति ए बी बोरकर की पीठ कोविड-19 महामारी के बीच नागपुर में दवाइयों एवं रेमडेसिविर इंजेक्शन की उपलब्धता को लेकर एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसका उसने पिछले वर्ष स्वत: संज्ञान लिया था।
अदालत ने कहा, ‘‘ हम आज की स्थिति को देखते हुए इस मामले को हाथ में ले रहे हैं और हम विभिन्न अधिकारियों की मदद से हल ढूंढने का प्रयास कर रहे हैं। ’’
न्यायमित्र वकील एस पी भंडारकर ने ऑक्सीजन सिलेंडर की कमी का मुद्दा उठाया जिसका राज्य के खाद्य एवं दवा प्रशासन (एफडीए) की नागपुर इकाई ने खंडन किया।
अदालत ने कहा, ‘‘(कमी है या नहीं है, के) विवाद में गये बगैर हम महाराष्ट्र सरकार को ऑक्सीजन उत्पादन के लिए नागपुर में इकाई/संयत्र लगाने पर गौर करने का सुझाव देते हैं।’’
उच्च न्यायालय की इस पीठ ने राज्य सरकार, मुख्यमंत्री एवं नागपुर जिले के प्रभारी मंत्री को ‘‘आज की स्थिति और दिनोंदिन बिगड़ती जा रही स्थिति को देखते हुए’’ तत्काल इस मामले पर गौर करने को कहा है।
एफडीए की ओर से पेश वकील एम जी भांगडे ने पीठ को बताया कि समर्पित अस्पतालों को निर्धारित प्रक्रिया के तहत रेमडेसिविर इंजेक्शन प्रदान की जा रही हैं और इसे दवा दुकानदार अपने काउंटरों पर नहीं बेच रहे हैं।
भंडारकर ने अदालत से कहा कि लोग रेमडेसिविर इंजेक्शन फर्जी मरीजों के नाम से हासिल कर रहे हैं और उसकी कालाबाजारी कर रहे हैं। अदालत ने प्रशासन से इस मुद्दे की जांच करने को कहा।
अदालत ने एक अस्पताल में एक मरीज की मौत के बाद उसके रिश्तेदारों द्वारा वहां की गयी तोड़फोड़ की हाल की घटना का संज्ञान लिया और पुलिस से डॉक्टरों एवं स्वास्थ्यकर्मियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने को कहा।
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