मुंबई: महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने विधानसभा में सोमवार को विश्वास मत हासिल कर लिया। उनके पक्ष में 164 वोट पड़े। वहीं, विपक्ष में 99 मत पड़े। तीन सदस्य वोटिंग के दौरान गैरहाजिर रहे।
इसके अलावा उद्धव ठाकरे को एक और झटका मिला जब कल तक उनके कैम्प में नजर आ रहे विधायक संतोष बांगड़ ने आज शिंदे सरकार के समर्थन में वोट दिया। वे बागी विधायकों के साथ ही होटल से आज सुबह विधान भवन पहुंचे थे। इसके बाद से ही उनके पाला बदलने की अटकलें लगाई जा रही थी।
इसके अलावा ठाकरे गुट के एक और विधायक शेतकरी कामगार पक्ष के श्यामसुंदर शिंदे ने भी एकनाथ शिंदे के समर्थन में वोट किया।विधानसभा में वोटिंग के दौरान कुछ हंगामा भी देखने को मिला जब उद्धव गुट ने ईडी-ईडी के नारे लगाने शुरू कर दिए।
विश्वास मत पर इससे पहले विधानसभा में ध्वनिमत से बहुमत साबित करने की बात स्पीकर राहुल नार्वेकर की ओर कह गई। हालांकि इस पर विपक्ष की ओर से एतराज जताया गया। इसके बाद वोटिंग की प्रकिया शुरू हुई। इसके तहत दोनों गुटों के विधायकों को अलग-अलग बैठाकर हेडकाउंट किया गया।
दूसरी ओर उद्धव ठाकरे गुट को एक और झटका सोमवार को सुप्रीम कोर्ट से भी मिला। दरअसल, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के गुट की ओर से बतौर शिवसेना पार्टी नया पार्टी सचेतक नियुक्त करने के महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष के फैसले के खिलाफ उद्धव ठाकरे गुट की ओर से दायर नई याचिका कोर्ट ने तत्काल सुनवाई से इनकार कर दिया। कोर्ट ने कहा है कि वह इस मामले की भी लंबित अन्य मामलों के साथ 11 जुलाई को सुनवाई करेगा।
दरअसल, एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में शिवसेना के बागी विधायकों के गुट के नए पार्टी सचेतक को मान्यता देने के महाराष्ट्र विधानसभा अध्यक्ष राहुल नर्वेकर के आदेश के खिलाफ उद्धव ठाकरे गुट ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था।