Lok Sabha Elections 2024: बिहार में कांग्रेस ने की 11 लोकसभा सीटों की मांग, महागठबंधन में टकराव की स्थिति
By एस पी सिन्हा | Published: March 17, 2024 03:44 PM2024-03-17T15:44:33+5:302024-03-17T15:45:55+5:30
Lok Sabha Elections 2024: कांग्रेस कन्हैया कुमार और तारिक अनवर को हर हाल में चुनाव लड़वाना चाहती है। ऐसे में कन्हैया कुमार के लिए बेगूसराय और तारिक अनवर के लिए कटिहार सीट कांग्रेस हर हाल में चाहती है। इस स्थिति में महागठबंधन के अंदर सीट शेयरिंग फॉर्मूला अभी भी चुनौती बनी हुई है।
पटना: लोकसभा चुनाव की घोषणा के साथ ही बिहार में सियासी हलचल तेज हो गई है। लेकिन अभी तक न तो एनडीए और न ही महागठबंधन में सीटों का बंटवारा हो सका है। इस बीच बिहारकांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अखिलेश प्रसाद सिंह ने महागठबंधन में तेजस्वी यादव के सामने 11 सीटों की मांग कर परेशानी बढ़ा दी है। कांग्रेस ने बिहार में 11 लोकसभा सीटों पर चुनाव लड़ने का मन बना लिया है। इन सीटों में बेगूसराय और कटिहार जैसी लोकसभा सीट भी शामिल है। इन दोनों सीटों को लेकर राजद और कांग्रेस के बीच खींचतान लगातार जारी है। लेकिन कांग्रेस भी कटिहार और बेगूसराय पर चुनाव लड़ने के लिए अडिग दिख रही है।
दरअसल, कांग्रेस कन्हैया कुमार और तारिक अनवर को हर हाल में चुनाव लड़वाना चाहती है। ऐसे में कन्हैया कुमार के लिए बेगूसराय और तारिक अनवर के लिए कटिहार सीट कांग्रेस हर हाल में चाहती है। इस स्थिति में महागठबंधन के अंदर सीट शेयरिंग फॉर्मूला अभी भी चुनौती बनी हुई है। बेगूसराय लोकसभा सीट पर 2019 में कन्हैया कुमार भाकपा के टिकट पर चुनाव लड़ चुके हैं। तब उन्हें भाजपा के गिरिराज सिंह से मुंह की खानी पड़ी थी।
उधर कटिहार लोकसभा सीट पर राजद और कांग्रेस में खींचतान लगातार बनी हुई है। राजद कटिहार से अपने पूर्व राज्यसभा सांसद अहमद अशफाक करीम को चुनाव लड़ने के मूड में है। 2019 के लोकसभा चुनाव में तारिक अनवर को यहां जदयू के दुलारचंद गोस्वामी से हार का सामना करना पड़ा था। दुलारचंद गोस्वामी ने उन्हें 57 हजार से अधिक मतों से पराजित किया था। अखिलेश सिंह ने दावा किया है कि 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस कम से कम 10 सीटों पर चुनाव लड़ी थी तो ऐसे में इस बार महागठबंधन से कई पार्टियां बाहर हैं तो कांग्रेस के लिए सीटों की अधिक संख्या पर दावेदारी बनती है।
उन्होंने बताया कि उनकी पार्टी बाल्मीकि नगर, मोतिहारी, नवादा, मधुबनी, पूर्णिया, सुपौल, किशनगंज, औरंगाबाद सासाराम और पाटलिपुत्र लोकसभा सीटों पर भी संभावित उम्मीदवारों के नाम पर चर्चा की है। कांग्रेस को उम्मीद है कि उसे कम से कम 11 सीटें तो मिलेगी ही। पार्टी द्वारा वाल्मीकि नगर या मधुबनी में से कोई एक सीट राजद से मांगी गई है। कांग्रेस नेताओं की मानें तो महागठबंधन में सीट शेयरिंग का फार्मूला अगले एक सप्ताह में तय हो जाने की संभावना है।
वहीं, अखिलेश सिंह ने केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस को भी महागठबंधन में आने का ऑफर दिया है। उन्होंने कहा कि अगर पशुपति पारस हमारे साथ हाथ मिलाना चाहें, तो उनका स्वागत है। अखिलेश सिंह का ये बयान ऐसे समय आया है जब एनडीए में पशुपति पारस नाराज चल रहे हैं।
इस बीच भाकपा-माले ने विज्ञप्ति जारी करके कहा है कि सीटों के तालमेल न होना चिंताजनक बात है। माले नेता धीरेंद्र झा राजद को धमकाते हुए कहा कि अगर जल्द सीटों का बंटवारा नहीं किया गया तो उनकी पार्टी 8 सीटों पर अपने प्रत्याशी उतार देगी। उन्होंने कहा कि अब चूंकि चुनाव की घोषणा हो चुकी है, इसलिए महागठबंधन दलों के भीतर सीटों के तालमेल की प्रक्रिया तत्काल फाइनल हो जानी चाहिए। अब इसमें किसी भी प्रकार की देरी महागठबंधन की संभावना को कमजोर कर सकती है।