जानें क्या है सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल परियोजना, जिसका पीएम मोदी ने किया है आज उद्घाटन
By पल्लवी कुमारी | Published: August 10, 2020 11:08 AM2020-08-10T11:08:11+5:302020-08-10T11:08:11+5:30
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर परियोजना का उद्घाटन कर कहा, अंडमान-निकोबार को बाकी देश और दुनिया से जोड़ने वाला ये ऑप्टिकल फाइबर प्रोजेक्ट, ईज ऑफ लिविंग के प्रति हमारी प्रतिबद्धता का प्रतीक है। आज अंडमान को जो सुविधा मिली है, उसका बहुत बड़ा लाभ वहां जाने वाले टूरिस्टों को भी मिलेगा।
नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज (10 अगस्त) को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर को जोड़ने वाली सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल (OFC) का उद्घाटन किया। उद्घाटन कर पीएम मोदी ने कहा, चेन्नई से पोर्ट ब्लेयर, पोर्ट ब्लेयर से लिटिल अंडमान और पोर्ट ब्लेयर से स्वराज द्वीप तक, अंडमान निकोबार के एक बड़े हिस्से में ये सेवा आज से शुरु हो चुकी है। समंदर के भीतर करीब 2300 किलोमीटर तक केबल बिछाने का ये काम समय से पहले पूरा करना, अपने आप में बहुत प्रशंसनीय है।
समुद्र के भीतर बिछा यह केबल पोर्ट ब्लेयर, स्वराज दीप (हैवलॉक), लिटिल अंडमान, कार निकोबार, कामोरता, ग्रेट निकोबार, लांग आईलैंड और रंगट को भी जोड़ेगा।
#WATCH Live from Delhi - PM Narendra Modi inaugurates via video conferencing the submarine Optical Fibre Cable (OFC) connecting Chennai and Port Blair. https://t.co/ga8c2W2IJt
— ANI (@ANI) August 10, 2020
इस परियोजना के शुरुआत से फायदे क्या होंगे?
-चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर के बीच समुद्र के भीतर बिछायी गई केबल संपर्क सुविधा (ओएफसी) से अंडमान निकोबार द्वीपसमूह में मोबाइल और लैंडलाइन दूरसंचार सेवाएं बेहतर होंगी।
- इसके साथ ही इंटरनेट कनेक्टिविटी में बहुत बड़ा सुधार हो जाएगा। ये सेवाएं देश के अन्य भागों की तरह ही होंगी। इससे वहां 4G सेवाएं भी दुरुस्त होंगी।
-सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल लिंक चेन्नई और पोर्ट ब्लेयर के बीच 2x200 गीगाबिट का बैंडविद्थ (जीबीपीएस) देगा। पोर्ट ब्लेयर और अन्य द्वीपों के बीच 2x100 जीबीपीएस देगा।
-पीएम मोदी ने यह भी कहा है कि 300 किलोमीटर के राष्ट्रीय राजमार्ग पर काम चल रहा है और इससे द्वीप के कई हिस्सों में पहुंचना न सिर्फ आसान होगा, बल्कि अन्य गतिविधयों को बढ़ावा मिलेगा।
-वहीं बेहतर दूरसंचार और ब्रॉडबैंड संपर्क सुविधा से अंडमान निकोबार द्वीप क्षेत्र में पर्यटन और रोजगार सृजन को भी गति मिलेगी।
-इसके अलावा केबल्स के जरिए अधिकतम 400 Gbps की स्पीड मिलेगी। इसको आप ऐसे समझे मान लीजिए कि आप 4K में दो घंटे की मूवी डाउनलोड करना चाहें जो करीब 160 GB की होगी तो उसमें 3 से 4 सेकेंड्स लगेंगे। इतने में ही आप 40 हजार गाने भी डाउनलोड कर सकते हैं।
जानें पीएम मोदी ने सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल परियोजना का उद्घाटन कर आज क्या-क्या कहा?
-पीएम मोदी ने कहा- नेता जी सुभाषचंद्र बोस को नमन करते हुए, करीब डेढ़ वर्ष पहले मुझे सबमरीन ऑप्टिकल फाइबर केबल परियोजना परियोजना के शुभारंभ का अवसर मिला था। मुझे खुशी है कि अब इसका काम पूरा हुआ है और आज इसके लोकार्पण का भी सौभाग्य मुझे मिला है।
Tourists going to Andaman will get a huge benefit of this facility because better net connectivity has become the first priority of any tourist destination: Prime Minister Narendra Modi https://t.co/IwLL9FXaXK
— ANI (@ANI) August 10, 2020
-पीएम मोदी ने कहा, जितना बड़ा ये प्रोजेक्ट था, उतनी ही विराट चुनौतियां थीं। ये भी एक वजह थी कि बरसों से इस सुविधा की जरूरत महसूस होते हुए भी इस पर काम नहीं हो पाया था। लेकिन मुझे खुशी है कि सारी रुकावटों को किनारे करके, इस काम को पूरा किया गया।
-पीएम मोदी ने इस परियोजना के फायदे गिनाते हुए कहा, ऑनलाइन पढ़ाई हो, टूरिज्म से कमाई हो, बैंकिंग हो, शॉपिंग हो या Tele-medicine दवाई हो, अब अंडमान निकोबार के हजारों परिवारों को भी ये ऑनलाइन मिल पाएंगी।
-पीएम मोदी ने कहा- आज अंडमान को जो सुविधा मिली है, उसका बहुत बड़ा लाभ वहां जाने वाले टूरिस्टों को भी मिलेगा। बेहतर नेट कनेक्टिविटी आज किसी भी टूरिस्ट डेस्टिनेशन की सबसे पहली प्राथमिकता हो गई है।
High Impact Projects are being expanded in 12 islands of Andaman and Nicobar. The major problem of mobile & internet connectivity has been resolved today. Apart from this, physical connectivity through road, air & water is also being strengthened: Prime Minister Narendra Modi pic.twitter.com/qYiZp30c7Y
— ANI (@ANI) August 10, 2020
-पीएम मोदी ने कहा, अंडमान और निकोबार के 12 आइलैंड्स में हाई इम्पैक्ट प्रोजेक्ट का विस्तार किया जा रहा है। मोबाइल और इंटरनेट कनेक्टिविटी की एक बहुत बड़ी समस्या का समाधान तो आज हो चुका है।इसके अलावा रोड, एयर और वॉटर के ज़रिए फिजिकल कनेक्टिविटी को भी सशक्त किया जा रहा है।