केजरीवाल ने केंद्र के कृषि कानूनों की प्रतियां फाड़ी, कहा-किसानों से ‘छल’ नहीं कर सकते
By भाषा | Updated: December 17, 2020 19:21 IST2020-12-17T19:21:20+5:302020-12-17T19:21:20+5:30

केजरीवाल ने केंद्र के कृषि कानूनों की प्रतियां फाड़ी, कहा-किसानों से ‘छल’ नहीं कर सकते
नयी दिल्ली, 17 दिसंबर दिल्ली विधानसभा ने बृहस्पतिवार को केंद्र के तीन नए कृषि कानूनों के खिलाफ एक प्रस्ताव पारित किया। इस दौरान, मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने तीनों कानूनों की प्रतियों को फाड़ते हुए कहा कि वह देश के किसानों के साथ छल नहीं कर सकते।
दिल्ली विधानसभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने आरोप लगाया कि कानूनों को ‘‘भाजपा के चुनावी ‘फंडिंग’ के लिए बनाया गया है और यह किसानों के लिए नहीं है।’’
केजरीवाल ने तीनों कानूनों की प्रतियों को फाड़ते हुए कहा, ‘‘मुझे ऐसा करते हुए बहुत दुख हो रहा है। मैं ऐसा नहीं करना चाहता था लेकिन मैं देश के किसानों के साथ छल नहीं कर सकता...जो ठंड में सड़कों पर सो रहे हैं..जब तापमान दो डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘मैं सबसे पहले इस देश का नागरिक हूं, मुख्यमंत्री बाद में। विधानसभा तीनों कानूनों को खारिज करती है और केंद्र सरकार को किसानों की मांगों को स्वीकार करना चाहिए।’’
केजरीवाल ने कहा कि अब तक 20 प्रदर्शनकारी किसानों की मौत हो चुकी है और कहा कि केंद्र को अब ‘जाग’ जाना चाहिए।
उन्होंने कहा ‘‘ केंद्र इस मुगालते में ना रहे कि किसान वापस अपने घर चले जाएंगे। वर्ष 1907 में किसानों का प्रदर्शन नौ महीनों तक चलता रहा जब तक कि ब्रिटिश शासकों ने कुछ कानूनों को निरस्त नहीं कर दिया।’’
मुख्यमंत्री ने सवाल किया, ‘‘जब कानूनों के फायदे के बारे में पूछा गया तो भाजपा के हरेक नेता ने कहा कि किसान देश में कहीं भी अपने उत्पाद बेच सकते हैं...लेकिन किसानों को अपनी फसल न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर बेचने के लिए कहां जाना चाहिए।’’
उन्होंने दावा किया कि तीनों नए कानूनों के कारण ‘‘बड़े पूंजीपति ऊंची कीमतों पर उत्पाद बेचेंगे’’ जिससे मूल्य में बढोतरी होगी।
विधानसभा द्वारा ध्वनि मत से प्रस्ताव पारित किए जाने के बाद आप के विधायक सदन के बीचों-बीच चले गए, कानून की प्रतियां फाड़ दीं और नारेबाजी करते हुए इन कानूनों को वापस लेने की मांग की ।
विधानसभा अध्यक्ष राम निवास गोयल ने शाम सवा पांच बजे तक सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी। कार्यवाही शुरू होने पर आप के विधायक फिर सदन के बीचों- बीच एकत्र हो गए जिसके बाद कार्यवाही अगले दिन तक के लिए स्थगित कर दी गयी।
बाद में आप के विधायकों ने विधानसभा परिसर में कृषि कानूनों की प्रतियां फाड़ीं।
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