कृषि संकट के महत्वपूर्ण मुद्दों पर प्रकाश डालती कविता अय्यर की नई किताब
By भाषा | Published: January 28, 2021 06:01 PM2021-01-28T18:01:46+5:302021-01-28T18:01:46+5:30
नयी दिल्ली, 28 जनवरी भारत में किसान आंदोलन के दौरान पत्रकार कविता अय्यर की आयी नई किताब उन गंभीर मुद्दों की करीब से पड़ताल करती है जो दशकों से कृषि समुदाय से जुड़े लोगों को परेशान करते रहे हैं।
हार्पर कॉलिन्स से प्रकाशित “लैंडस्केप्स ऑफ लास: द स्टोरी ऑफ ऐन इंडियन ड्रॉट”, मराठवाड़ा के लोगों से सुनी, वहां की कहानी कहती है।
सूरज से तपी मराठवाड़ा की लाल धरती, पहाड़ियां और वहां के लोगों के लाल गुलाबी सुर्ख पहनावे के साथ दलितों, भूमिहीन मजदूरों, किसानों की विधवाओं और बच्चों का सजीव चित्रण इस पुस्तक में किया गया है।
मराठवाड़ा, महाराष्ट्र का ऐतिहासिक रूप से पिछड़ा भाग है और यूनेस्को द्वारा विश्व धरोहर घोषित की गई अजंता एलोरा की गुफाएं भी यहीं हैं।
इस क्षेत्र में किसानों द्वारा आत्महत्या करने की घटनाएं पिछले कुछ सालों में बढ़ी हैं।
अय्यर का कहना है कि आंदोलनरत किसानों के समर्थन में साक्ष्य उपलब्ध हैं जिनसे पता चलता है कि देश का एक हिस्सा दूसरे से कितना कटा हुआ है।
उन्होंने कहा, “यह उन प्रश्नों पर विचार करने का समय है कि अपने सीमित संसाधनों के साथ वर्ष 2050 तक दस अरब लोगों को भोजन कैसे दिया जाएगा। हम भारतीय किसानों की समस्याओं की अनदेखी नहीं कर सकते।”
अय्यर के मुताबिक दिल्ली में चल रहे आंदोलन में उम्मीद की यदि एक किरण है तो वह यह नहीं है कि कोई खंडित व्यवस्था इसका त्वरित समाधान निकाल लेगी, बल्कि भारत के बाकी लोग किसानों को देख सकें, उनकी बात सुन सकें, उनके संघर्ष को समझ सकें तभी उनकी दिक्कतों का अंत हो सकेगा।
अय्यर ने कहा कि तीनों कृषि कानूनों से किसानों की समस्या का हल नहीं निकलने वाला।
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