बुजुर्ग ठेलेवाले का ठेला पलटकर तरबूज नष्ट करने वाले 4 आरोपियों को मिली जमानत, श्रीराम सेना ने माला पहनाकर किया स्वागत
By आशीष कुमार पाण्डेय | Published: April 17, 2022 02:05 PM2022-04-17T14:05:28+5:302022-04-17T14:14:27+5:30
कर्नाटक के धारवाड़ जिले में नौ अप्रैल को चार लोगों ने एक बुजुर्ग ठेलेवाला का तरबूज का ठेला पलट दिया और उसके कई तरबूज नष्ट कर दिये। पलटे हुए ठेले और बुजुर्ग ठेलेवाले की तस्वीर सोशलमीडिया पर वायरल होने के बाद चार आरोपियों की गिरफ्तारी हुई थी।
कर्नाटक:धारवाड़ के नुग्गीकेरी गांव में हनुमंथा मंदिर के बाहर बुजुर्ग मुस्लिम फल विक्रेता के ठेले को पलटने वाले चार आरोपियों को शनिवार को जमानत मिल गयी। बुजुर्ग ठेलेवाला मंदिर के बाहर तरबूज का ठेला लगाता था जिसे आरोपियों ने पलट दिया था।
सभी आरोपी कथित तौर पर श्रीराम सेना नामक संगठन के सदस्य हैं। तरबूज के पलटे हुए ठेले के बगल में बैठे हताश-निराश बुजुर्ग की तस्वीर सोशलमीडिया पर वायरल हो गयी थी, जिसके बाद कर्नाटक पुलिस ने आरोपियों पर मामला दर्ज किया था।
इन आरोपियों के जमानत पर रिहा होने के बाद श्रीराम सेना ने उनका माला पहनाकर स्वागत किया। यह घटना कर्नाटक के धारवाड़ जिले की है। घटना मे बुजुर्ग ठेलेवाले के कई तरबूज भी नष्ट हो गये थे।
शनिवार को जमानत पर रिहा होने के बाद हवालात से बाहर आनेपर इन आरोपियों ने जयश्रीराम के नारे लगाये। यह घटना नौ अप्रैल को हुई थी। घटना की तस्वीर वायरल होने के बाद सभी आरोपी गिरफ्तार किये गये और अदालत ने उन्हें 22 अप्रैल तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया था लेकिन सभी आरोपियों को 16 अप्रैल को ही जमानत मिल गयी।
श्रीराम सेना ने अपने कृत्य को न्यायोचित ठहराते हुए दलील दी कि उसने मुस्लिम ठेलेवाले को करीब एक महीना पहला हिन्दू मन्दिर के पास ठेला न लगाने की हिदायत दी थी लेकिन उसने वहाँ ठेला लगाना बन्द नहीं किया।
श्रीराम सेना पर पहले भी मुस्लिम-विरोधी कृत्य एवं हिंसा करने के आरोप लगते रहे हैं। द न्यूज मिनट वेबसाइट ने बुजुर्ग तरबूज विक्रेता से बात की और उसने बताया कि वह पिछले 20 सालों से मन्दिर के पास ठेला लगा रहा है।
मालूम हो कि कर्नाटक में बुरका विवाद, मंदिरों के मेले में मुस्लिम दुकानदारों पर लगे प्रतिबंध, हलाल मीट और मस्जिदों में लगे लाउडस्पीकर द्वारा अजान के विवाद से लेकर अल्पसंख्यकों के खिलाफ पैदा हुए असंतोष के कारण आज भी हालात बहुत तनावपूर्ण है।
हर दिन राज्य में हिंदू-मुस्लिम तनाव की खाई बढ़ती जा रही है। जबकि मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के द्वारा लगातार सख्त कानून-व्यवस्था को कायम किये जाने के दिशा-निर्देशों के बावजूद अल्पसंख्यकों के साथ दुर्वव्यवहार का सिलसिला थम नहीं पा रहा है।