हरियाणा विधानसभा चुनाव: चौटाला की पार्टी इनेलो को फिर लगा तगड़ा झटका, अब तक 11 विधायक हो चुके हैं BJP में शामिल

By बलवंत तक्षक | Published: September 11, 2019 08:58 AM2019-09-11T08:58:12+5:302019-09-11T08:58:12+5:30

पूर्व प्रदेश अध्यक्ष अशोक अरोड़ा ने छोड़ी इनेलो. अरोड़ा से पहले इनेलो के 11 विधायक भाजपा में शामिल हो चुके हैं.

Indian National Lok Dal Gets Another Jolt After Ashok Arora Quits Party Before Haryana Polls | हरियाणा विधानसभा चुनाव: चौटाला की पार्टी इनेलो को फिर लगा तगड़ा झटका, अब तक 11 विधायक हो चुके हैं BJP में शामिल

हरियाणा विधानसभा चुनाव: चौटाला की पार्टी इनेलो को फिर लगा तगड़ा झटका, अब तक 11 विधायक हो चुके हैं BJP में शामिल

Highlightsपूर्व प्रदेश अध्यक्ष अशोक अरोड़ा के कांग्रेस पार्टी में जाने के आसार हैं. विधानसभा अध्यक्ष और परिवहन मंत्री रह चुके अशोक अरोड़ा पूर्व उप प्रधानमंत्री चौधरी देवीलाल के समय से इनेलो से जुड़े हुए हैं.

हरियाणा में पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला की पार्टी इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) को इस बार फिर तगड़ा झटका लगा है.

लंबे समय तक इनेलो के प्रदेश अध्यक्ष रहे अशोक अरोड़ा ने कुरुक्षेत्र में अपने समर्थकों की बैठक में इनेलो छोड़ने का ऐलान किया.

पार्टी को अलविदा कहने के लिए उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री चौटाला से माफी मांगी है. अरोड़ा से पहले इनेलो के 11 विधायक भाजपा में शामिल हो चुके हैं.

अरोड़ा ने अभी किसी पार्टी में शामिल होने का ऐलान तो नहीं किया है, लेकिन उनके कांग्रेस में जाने के आसार हैं.

इस समय वे इनेलो के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष थे. लोकसभा चुनावों में इनेलो की सभी दस सीटों पर हार के बाद नैतिकता के आधार पर उन्होंने पार्टी की हरियाणा इकाई के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था.

चौटाला ने उनका इस्तीफा स्वीकार करने के बाद उन्हें पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष की जिम्मेदारी सौंप दी थी.

इससे पहले इनेलो के दो फाड़ होने और जींद उप चुनाव में इनेलो उम्मीदवार उमेद सिंह की जमानत जब्त हो जाने के बाद विधायकों के पार्टी छोड़ने का जो सिलिसला शुरू हुआ था, वह अभी भी थम नहीं रहा है. अरोड़ा के इनेलो छोड़ने के बाद यह सिलिसला और तेज हो सकता है.

इनेलो सरकार में विधानसभा अध्यक्ष और परिवहन मंत्री रह चुके अशोक अरोड़ा पूर्व उप प्रधानमंत्री चौधरी देवीलाल के समय से इनेलो से जुड़े हुए हैं. उन्होंने बतौर कार्यकर्ता अपनी राजनीतिक पारी की शुरुआत की थी.

इसके बाद 1990 में पहली बार थानेसर क्षेत्र से उप चुनाव में विधायक बनकर वे विधानसभा में पहुंचे थे. इसके बाद अरोड़ा वर्ष 1996, 2000 और 2009 में भी विधायक चुने गए.

पिछले विधानसभा चुनावों में मोदी लहर के चलते अरोड़ा अपनी सीट नहीं बचा पाए थे.

भाजपा के सुभाष सुधा के मुकाबले वे चुनाव हार गए थे. इस बीच इनेलो लगातार कमजोर होता गया.

अपने सुरिक्षत राजनीतिक भविष्य के लिए अब उन्होंने भी पार्टी बदलने का फैसला कर लिया है और जल्दी ही उनके कांग्रेस में जाने के आसार हैं. 

Web Title: Indian National Lok Dal Gets Another Jolt After Ashok Arora Quits Party Before Haryana Polls

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