किसान आंदोलन के समर्थन में पश्विमी उप्र के किसानों ने कई जगह किया प्रदर्शन, चक्का जाम

By भाषा | Published: November 27, 2020 04:21 PM2020-11-27T16:21:19+5:302020-11-27T16:21:19+5:30

In support of the peasant movement, the farmers of western UP demonstrated in many places, the chakka jam | किसान आंदोलन के समर्थन में पश्विमी उप्र के किसानों ने कई जगह किया प्रदर्शन, चक्का जाम

किसान आंदोलन के समर्थन में पश्विमी उप्र के किसानों ने कई जगह किया प्रदर्शन, चक्का जाम

मेरठ/बागपत/हापुड़/सहारनपुर/नोएडा, 27 नवंबर केंद्र सरकार से कृषि कानून वापस लेने की मांग को लेकर पंजाब-हरियाणा के किसान आंदोलन की आंच शुक्रवार को पश्चिमी उत्तर प्रदेश में भी देखने को मिली। कई जिलों में प्रदर्शनकारी किसानों ने राजमार्ग पर जाम लगाकर अपना विरोध जताया।

पंजाब और हरियाणा के किसानों पर किये गये लाठी चार्ज पर आक्रोश जताते हुए भारतीय किसान यूनियन ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों में प्रदर्शन का एलान किया है।

इसके तहत मेरठ, बागपत, हापुड़, सहारनपुर समेत कई जगहों पर किसानों ने विरोध प्रदर्शन किया।

मेरठ में भारतीय किसान यूनियन (अराजनैतिक) के कार्यकर्ता शुक्रवार सुबह 11 बजे दिल्ली देहरादून बाइपास पर जटौली कट के निकट राष्ट्रीय राजमार्ग पर अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गए।

इस दौरान ट्रैक्टर ट्रालियां सड़क पर खड़ी करके धरने पर बैठे भाकियू कार्यकर्ताओं ने जमकर नारेबाजी भी की।

प्रशासनिक सूत्रों ने बताया कि राष्ट्रीय राजमार्ग पर दिल्ली और हरिद्वार, देहरादून से आवाजाही को बंद कर दिया गया जिससे राजमार्ग पर वाहनों की कतार लग गई है।

भाकियू के मेरठ जिलाध्यक्ष मनोज त्यागी ईकडी ने कहा, ‘‘सरकार के तानाशाही वाले रवैये से किसान डरने वाले नहीं है। कृषि कानून बनाकर किसानों के साथ धोखा हुआ है। विरोध करने पर सरकार ने किसानों की आवाज को कुचलने की कोशिश की जिसका जवाब आंदोलन से दिया जाएगा।’’

वहीं बागपत में भारतीय किसान यूनियन ने कृषि कानूनों को वापस लेने और किसानों पर हुए लाठी चार्ज के विरोध में शुक्रवार को जिले में निवाड़ा पुल पर शुक्रवार को सोनीपत हाइवे को जाम किया।

बागपत के पुलिस अधीक्षक अभिषेक सिंह ने बताया कि बागपत जिले में निवाड़ा पुल हरियाणा और उत्तर प्रदेश की सीमा है। उन्होंने कहा कि यहां किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति से निपटने के लिए मजिस्ट्रेट मौजूद हैं व भारी संख्या में पुलिस बल लगाया गया है। इसके साथ ही स्थानीय किसान नेताओं से पुलिस सम्पर्क बनाए हुए है।

भारतीय किसान यूनियन (अराजनैतिक) के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश सिंह टिकैत ने नोएडा में ‘भाषा’ से कहा कि कृषि कानूनों का विरोध कर रहे किसानों से सरकार बातचीत करे तथा विवादित कानून को वापस ले।

उन्होंने कहा कि दिल्ली में प्रदर्शन करने जा रहे हरियाणा, पंजाब के किसानों का भारतीय किसान यूनियन पूरी तरह से समर्थन कर रहा है तथा भाकियू आज उत्तर प्रदेश में विभिन्न स्थानों पर सड़क जाम कर प्रदर्शनरत किसानों का समर्थन करेगी।

गौतम बुद्ध नगर की दिल्ली से सटी सभी सीमाओं पर एहतियात के तौर पर पुलिस तैनात की गई है। गौतमबुद्ध नगर के पुलिस उपायुक्त जोन प्रथम राजेश एस. ने बताया, ‘‘हरियाणा व पंजाब के किसान शुक्रवार को दिल्ली में आंदोलन करने जा रहे हैं। हमें सूचना थी कि किसान यमुना एक्सप्रेसवे तथा ईस्टर्न पेरीफेरल एक्सप्रेसवे के रास्ते नोएडा से होते हुए दिल्ली में प्रवेश कर सकते हैं।’’

उन्होंने बताया कि इस सूचना के आधार पर नोएडा से दिल्ली जाने वाले सभी मार्गों पर एहतियात के तौर पर बृहस्पतिवार को भी बल की तैनात की गई थी तथा सघन जांच की गई थी।

वहीं हापुड़ में भी किसानों ने राष्ट्रीय राजमार्ग-9 पर नारेबाजी करते हुए जाम लगा दिया, जिससे वाहनों की लम्बी लम्बी कतारें लग गईं। सूत्रों के अनुसार हापुड़ के राष्ट्रीय राजमार्ग-9 पर ततारपुर मोड़ पर भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं व किसानों ने कृषि कानूनों को लेकर जाम लगाया।

सहारनपुर में भी किसानों द्वारा नए कृषि कानून के विरोध में सहारनपुर-दिल्ली राष्ट्रीय राजमार्ग पर चक्का जाम किया गया । इससे दोनों तरफ वाहनों की लंबी कतार लग गई।

जिले के थाना बिहारीगढ़ के अन्तर्गत ग्राम ग्राम शेरपुर के निकट दिल्ली-देहरादून राष्ट्रीय राजमार्ग पर काफी संख्या में ट्रैक्टर-ट्रॉलियों से पहुंचे किसानों ने रास्ते में ही अपनी गाड़ियां लगा दीं। किसान अपने हुक्के और दरियां लेकर मौके पर बैठ गए। मामले की जानकारी होने पर जिलाधिकारी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक मौके पर पहुंचे और किसानों को समझाने का प्रयास किया लेकिन प्रदर्शनकारी पंजाब और हरियाणा के किसानों के समर्थन में धरने पर डटे रहे।

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Web Title: In support of the peasant movement, the farmers of western UP demonstrated in many places, the chakka jam

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