12 साल के बच्चे के शरीर में धड़केगा 62 साल की विमला का दिल, आंखें किसी और की जिंदगी को देंगी रोशनी

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: July 25, 2019 07:44 PM2019-07-25T19:44:38+5:302019-07-25T19:44:38+5:30

भोपाल कलेक्टर तरूण पिथोड़े के आदेश पर सिद्धांता अस्पताल से लेकर एयरपोर्ट तक ग्रीन कारिडोर बनाया गया था, ताकि आर्गन जल्द से जल्द सही वक्त पर मुंबई पहुंचाया जा सके.

Heart transplant: madhya pradesh 62 year old woman 12 year old boy mumbai | 12 साल के बच्चे के शरीर में धड़केगा 62 साल की विमला का दिल, आंखें किसी और की जिंदगी को देंगी रोशनी

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Highlightsमध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की महिला स्वर्गीय विमला अरोरा का दिल मुंबई के हार्ट डिसीज से जूझ रहे एक 12 साल के बालक को लगेगा, जबकि उनकी आंखे हमीदिया अस्पताल में दान कर दी गई.स्वर्गीय विमला अजमेरा माह मई में एक हादसे के बाद वो सिद्धांता रेडक्रॉस अस्पताल में भर्ती थीं. 

मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल की महिला स्वर्गीय विमला अरोरा का दिल मुंबई के हार्ट डिसीज से जूझ रहे एक 12 साल के बालक को लगेगा, जबकि उनकी आंखे हमीदिया अस्पताल में दान कर दी गई. स्वर्गीय विमला अजमेरा माह मई में एक हादसे के बाद वो सिद्धांता रेडक्रॉस अस्पताल में भर्ती थीं. 

बुधवार सुबह डाक्टरों ने उन्हें ब्रेन डैड घोषित कर दिया था. उसके बाद परिवार ने उनके अंगदान करने का फैसला किया. परिवार के फैसले के बाद अस्पताल प्रबंधन ने मुंबई के फोर्टिस अस्पताल से संपर्क किया. खबर मिलते ही रात 12.30 बजे विशेषज्ञ डाक्टरों का दल मुंबई से यहां पहुंच गया. 

तमाम औपचारिकताएं पूरी करने के बाद सुबह साढ़े पांच बजे विमला के शरीर से हार्ट को निकालने का काम शुरू हुआ और सुबह लगभग सवा आठ बजे आपरेशन थियेटर से हार्ट बाहर लाया गया. भोपाल कलेक्टर तरूण पिथोड़े के आदेश पर सिद्धांता अस्पताल से लेकर एयरपोर्ट तक ग्रीन कारिडोर बनाया गया था, ताकि आर्गन जल्द से जल्द सही वक्त पर मुंबई पहुंचाया जा सके. ग्रीन कारिडोर बनने की वजह से एंबुलेंस महज 17 मिनट में एयरपोर्ट पहुंच गई और विमला अजमेरा का दिल मुंबई के लिए रवाना कर दिया गया.

भोपाल आर्गन डोनेशन सोसाइटी की चेयरपर्सन अमिता चांद और सुनील राय सहित स्वर्गीय विमला के परिवार वालों की मौजूदगी में उनके बाकी आर्गन निकाले गए. उनकी आंखें हमीदिया अस्पताल को डोनेट कर दी गई. समय रहते दूसरे शहर के लिए आसान कनेक्टिविटी ना होने के कारण स्वर्गीय अजमेरा की लंग्स डोनेट नहीं की जा सकीं. 

भोपाल से मुंबई और चेन्नई के लिए आसान एयर कनेक्टिविटी न होने के कारण दूसरी बार ऐसा हुआ कि लंग्स डोनेट करने के लिए परिवार तैयार था लेकिन लंग्स दान नहीं की जा सकीं. उनका लीवर भी सिद्धांता में ही डोनेट किया जाना था, लेकिन लीवर सही तरीके से काम नहीं कर रहा था इस वजह से डाक्टर्स ने उसे शरीर से नहीं निकाला.

Web Title: Heart transplant: madhya pradesh 62 year old woman 12 year old boy mumbai

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