WB: भाजपा के सुकांत मजूमदार ने श्रीलंका के मौजूदा हालात से की पश्चिम बंगाल की तुलना, कह दी बड़ी बात
By रुस्तम राणा | Published: April 5, 2022 07:51 PM2022-04-05T19:51:52+5:302022-04-05T20:06:21+5:30
सुकांत मजूमदार ने कहा, पश्चिम बंगाल का कर्जा 5.62 लाख करोड़ है। अगर पश्चिम बंगाल अलग देश होता तो इसके हालात श्रीलंका से भी बदतर होते।
कोलकाता: भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के पश्चिम बंगाल के प्रदेश अध्यक्ष सुकांत मजूमदार ने ममता सरकार की आर्थिक स्थिति की तुलना श्रीलंका के मौजूदा हालातों से की है। बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष ने न्यूज एजेंसी एएनआई के हवाले से कहा कि ममता बनर्जी को अपने राज्य का ख्याल रखना चाहिए। उन्होंने कहा श्रीलंका बर्बाद हो गया है। इस देश का कुल कर्जा छह लाख करोड़ था। अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए मजूमदार ने कहा, पश्चिम बंगाल का कर्जा 5.62 लाख करोड़ है। अगर पश्चिम बंगाल अलग देश होता तो इसके हालात श्रीलंका से भी बदतर होते।
दरअसल, बीते सोमवार को राज्य की सीएम ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार की आलोचना करते हुए कहा था कि भारत की आर्थिक स्थिति श्रीलंका से भी ज्यादा खराब है। उन्होंने इस पर चर्चा करने के लिए पीएम को सर्वदलीय बैठक बुलाने की भी अपील की थी। इस दौरान उन्होंने पेट्रोल-डीजल के दामों में हो रही वृद्धि को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधा था। जिसके जवाब में मंगलवार को मजूमदार ने ममता बनर्जी सरकार को आड़े हाथों लिया है।
मजूमदार ने कहा, हम (बंगाल) सिर्फ श्रीलंका के कर्ज से 38 हजार करोड़ पीछे है। उन्होंने कहा कि अगर पश्चिम बंगाल अलग देश होता तो इसके हालात श्रीलंका से भी ज्यादा बदतर होते। उन्होंने कहा, पश्चिम बंगाल की आर्थिक स्थिति बेहद खराब है, जिसकी चिंता ममता बनर्जी को करना चाहिए।
West Bengal | CM Mamata Banerjee should take care of her state. Sri Lanka is ruined; its total debt was Rs 6 lakh crore & WB's debt is Rs 5.62 lakh crore. Had West Bengal been a separate country, its condition would've been worse than Sri Lanka: BJP WB chief Sukanta Majumdar pic.twitter.com/5KzICxEklP
— ANI (@ANI) April 5, 2022
बता दें कि वर्तमान में श्रीलंका के हालात बहुत ज्यादा खराब हैं। आर्थिक संकट के कारण वहां सरकार को आम लोगों का गुस्सा झेलना पड़ रहा है। वहां जरूरी वस्तुओं की कीमतों में बेतहाशा वृद्धि है। महंगाई आसमान छू रही है। सरकार के पास देश को चलाने के लिए पैसा नहीं है, वह कर्ज में डूबा पड़ा है। वहीं दूसरी ओर से भारत निर्यात ऊपर जा रहे हैं। हालांकि भारत में भी रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण पेट्रोल डीजल की कीमतों में वृद्धि देखने को मिली है।