'वैक्सीन बनने में लगते हैं 8-10 साल, कोरोना का टीका 16 महीने में हो रहा तैयार', स्वास्थ्य मंत्रालय ने कही ये बात
By स्वाति सिंह | Published: December 1, 2020 06:39 PM2020-12-01T18:39:53+5:302020-12-01T18:58:17+5:30
स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर कहा गया कि पंजाब, राजस्थान और हरियाणा में एक बार फिर दोबारा कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने लोगों से अपील की है कि वे भीड़भाड़ वाले इलाकों में मास्क जरूर लगाएं, साथ ही दूरी का ख्याल रखें और बार-बार हाथ धोएं।
नई दिल्ली: देश में कोरोना वायरस को लेकर स्वास्थ्य मंत्रालय ने कुछ जानकारी साझा की है। स्वास्थ्य मंत्रालय के सचिव राजेश भूषण ने मंगलवार को बताया कि कोरोना महामारी के प्रभाव को देखते हुए हम 16 से 18 महीने के भीतर इस वैक्सीन को तैयार कर रहे हैं।
राजेश भूषण ने कहा कि वैक्सीन बनने में 8 से 10 साल लगते हैं। सबसे जल्दी बनने वाली वैक्सीन भी 4 साल में तैयार होती है। लेकिन कोरोना महामारी के असर को देखते हुए हम इसे कम समय में बनाने की कोशिश कर रहे हैं। हम कोरोना की वैक्सीन को 16 से 18 महीने के अंदर बना रहे हैं।
इसके साथ ही स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर कहा गया कि पंजाब, राजस्थान और हरियाणा में एक बार फिर दोबारा कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय ने लोगों से अपील की है कि वे भीड़भाड़ वाले इलाकों में मास्क जरूर लगाएं, साथ ही दूरी का ख्याल रखें और बार-बार हाथ धोएं।
वहीं आईसीएमआर के डीजी डॉ बलराम भार्गव ने भी इस मामले पर बात करते हुए कहा कि वैक्सीन कितने लोगों को दी जाएगी यह उत्पादन पर निर्भर करेगा। उन्होंने कहा कि अगर हम लोग कोरोना संक्रमण के चेन को तोड़ देते हैं तब हमलोगों को पूरी आबादी को टीकाकरण करने की आवश्यकता नहीं होगी। इस दौरान स्वास्थ्य सचिव ने बताया कि देश में 11 नवंबर को संक्रमण दर 7.15 फीसदी थी और 1 दिसंबर को यह घटकर 6.69 फीसदी हो गई है, जो कि देश के लिए अच्छी खबर है। उन्होंने बताया कि पिछले सप्ताह औसत दैनिक संक्रमण दर 3.72 फीसदी थी।