पणजी, 18 सितंबर: गोवा के कांग्रेस विधायक मनोहर पर्रिकर सरकार बर्खास्त करने और वैकल्पिक सरकार बनाने के लिए दावेदारी पेश करने की इजाजत देने की मांग को ले कर मंगलवार की शाम को राज्यपाल मृदुला सिन्हा से मिलेंगे। समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार कांग्रेसी नेता राज्यपाल से मंगलवार शाम मिलेंगे।
यह कदम उस समय उठाया गया है जब 62 साल के पर्रिकर को अग्नाशय के रोग के चलते दिल्ली में एम्स में भर्ती कराया गया है।
उल्लेखनीय है कि 40 सदस्यों वाली गोवा विधानसभा में कांग्रेस के 16 विधायक हैं। सभी 16 विधायकों ने राज्यपाल को उनकी अनुपस्थिति में कल एक ज्ञापन सौंपा था। इसमें उन्होंने आग्रह किया था कि वह विधानसभा भंग नहीं करें, बल्कि वैकल्पिक सरकार बनाने के लिए उनकी पार्टी को आमंत्रित करें।
कांग्रेस विधायक दल के नेता चंद्रकांत कावलेकर ने पीटीआई-भाषा को बताया कि राज्यपाल राज्य से बाहर थीं और मंगलवार को तीन बजे अपराह्न लौटी हैं।
कांग्रेस का दावा
सीएम मनोहर पर्रिकर की तबीयत खराब होने के बाद ये अफवाह उड़ने लगी कि बीजेपी किसी अन्य नेता को मुख्यमंत्री बना सकती है।
इसके बाद सोमवार (17 सितंबर) को कांग्रेस ने राजभवन का दरवाजा खटखटाया। हालांकि गोवा की राज्यपाल मृदुला सिन्हा से कांग्रेसी नेताओं की मुलाकात नहीं हो पाई।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, सरकार बनाने का दावा पेश करने के लिए कांग्रेस के 14 विधायक सोमवार को राजभवन पहुंचे। जिसके बाद उन्होंने अपना ज्ञापन राजभवन में ही छोड़ दिया है। उस ज्ञापन पर 16 विधायकों के हस्ताक्षर बताए गए हैं।
बीजेपी को समर्थन
गोवा फारवर्ड पार्टी (जीएफपी) के तीन विधायकों और तीन निर्दलीय विधायकों ने इस तटीय राज्य में अपनी सरकार के स्थायित्व की कोशिश में जुटी भाजपा के प्रति अपना समर्थन प्रकट किया।
जीएफपी के प्रमुख विजय सरदेसाई और पार्टी के दो अन्य विधायक तथा तीन निर्दलीय विधायक रविवार को जब भाजपा के केंद्रीय पर्यवेक्षकों से मिलने पहुंचे तब उन्होंने अपनी एकजुटता प्रदर्शित की। राज्य के कृषि मंत्री सरदेसाई गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर के विश्वासपात्र समझे जाते हैं।
दिन में इससे पहले सरदेसाई ने कहा था कि जीएफपी पर्रिकर के साथ हैं। उन्होंने कहा, ‘‘हम किसी से बात नहीं कर रहे हैं और न कि कोई हमसे बात कर रहा है।’’
गौरतलब है कि भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह और पार्टी के कई वरिष्ठ नेता गोवा के बीमार मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर का हालचाल जानने के लिए सोमवार को यहां अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) गये।
हालांकि अस्पताल के सूत्रों ने बताया कि 62 वर्षीय पर्रिकर की हालत ‘‘गंभीर नहीं है’’ तथा वह निगरानी में है। उन्हें गैस्ट्रोएंटरोलॉजी के प्रोफेसर डा.प्रमोद गर्ग की निगरानी में पुराने निजी वार्ड में भर्ती कराया गया है।