JNU छात्रसंघ चुनाव में लेफ्ट की बड़ी जीत के बाद भड़की हिंसा, ABVP और वाम सदस्यों के बीच झड़प
By भाषा | Published: September 18, 2018 07:45 AM2018-09-18T07:45:31+5:302018-09-18T07:47:10+5:30
वामपंथी छात्र संगठनों द्वारा रविवार को जेएनयूएसयू के केंद्रीय पैनल की सभी चार सीटों पर जीत दर्ज करने और अभाविप को बड़े अंतर से हराने के बाद विश्वविद्यालय परिसर में हिंसा भड़क गई।
नयी दिल्ली, 18 सितंबर: जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय के छात्र संघ (जेएनयूएसयू) चुनाव के नतीजे के ऐलान के कुछ ही घंटों बाद राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की छात्र इकाई अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) और वाम समर्थित ऑल इंडिया स्टूडेंट्स असोसिएशन (आइसा) के सदस्यों के बीच सोमवार को झड़प हो गई। दोनों संगठनों ने एक-दूसरे पर उनके सदस्यों पर हमला करने का आरोप लगाया। दि इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक मामले में पांच लोगों पर एफआईआर भी दर्ज कराई गई है।
वामपंथी छात्र संगठनों द्वारा रविवार को जेएनयूएसयू के केंद्रीय पैनल की सभी चार सीटों पर जीत दर्ज करने और अभाविप को बड़े अंतर से हराने के बाद विश्वविद्यालय परिसर में हिंसा भड़क गई।
आइसा का आरोप है कि अभाविप सदस्यों ने छात्रों पर हमला कर दिया और एक पूर्व छात्र को ‘‘पीट-पीटकर अधमरा’’ कर दिया। जेएनयूएसयू के नए अध्यक्ष की भी पिटाई की गई।
दूसरी ओर, अभाविप का दावा है कि वाम समर्थकों ने उसके कार्यकर्ताओं की पिटाई की, जिसमें तीन लोग घायल हुए।
जेएनयू परिसर में दो समूहों के बीच झड़प की यह दूसरी घटना है। शनिवार को मतगणना से पहले भी झड़प हुई थी। तब चुनाव अधिकारियों ने छात्रों द्वारा ‘‘जबरन प्रवेश’’ और ‘‘बैलट बक्से छीनने की कोशिशों’’ के आरोप लगाए जाने के बाद मतगणना कुछ घंटों के लिए रोक दी गई थी।
जेएनयूएसयू के नवनिर्वाचित अध्यक्ष एन. साई बालाजी ने आरोप लगाया कि सोमवार की अलसुबह अभाविप कार्यकर्ताओं ने उनकी पिटाई की।
बालाजी ने कहा, ‘‘आज अभाविप के छात्रों ने अचानक छात्रों पर हमला शुरू कर दिया। मुझे सतलज छात्रावास में मौके पर बुलाया गया। जेएनयूएसयू के निर्वाचित अध्यक्ष के तौर पर मैं उस छात्र की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए गया जिसे अभाविप के सदस्य डंडों से मार रहे थे।’’
उन्होंने दावा किया कि अभाविप सदस्यों ने ‘‘खुलेआम मुझे, जेएनयूएसयू की पूर्व अध्यक्ष गीता कुमारी और वहां मौजूद अन्य छात्रों को धमकी दी कि यदि उन्होंने हिंसा रोकने में दखल दिया तो गंभीर नतीजे भुगतने होंगे।’’
News of alleged violence by #ABVP goons in #JNU last night. Newly elected JNUSU president Sai Baba and ex president Geeta Kumari assaulted. Ex Student Abhinay and student Pawan brutally beaten. @DCPSouthDelhi@DelhiPolice hope u are taking cognisance. (Video via what’s app) pic.twitter.com/y3EGJHO4rZ
— Swara Bhasker (@ReallySwara) September 17, 2018
बहरहाल, अभाविप ने दावा किया कि आइसा कार्यकर्ताओं ने उसके सदस्यों से बदसलूकी की। उन्होंने उनके एक विकलांग सदस्य को भी नहीं बख्शा।
सुशील जी जो कि दिव्यांग हैं।आज इन नक्सली गुंडों ने सुबह पेरियार हास्टल में घुसकर उनके कमरे में उनको भी अपनी खूनी हिंसा का शिकार बनाया है। हालत गंभीर।#RedTerrorInJnupic.twitter.com/5NV5sFcLcD
— Nidhi Tripathi JNU (@nidhitripathi92) September 17, 2018
अभाविप ने कहा, ‘‘कम्यूनिस्ट विचारधारा के झंडाबरदारों की आड़ में अपराधियों ने अभाविप से जुड़े जेएनयू के तीन छात्रों पर हमला किया। गैर छात्रों समेत 15-20 वाम कार्यकर्ताओं ने ......(विद्यार्थियों पर हमला किया।)।’’
JNU में कम्यूनिस्टों ने @ABVPVoice के ओंकार श्रीवास्तव को अपनी हिंसा का शिकार बनाकर ओंकार का पैर तोड़ दिया है। एक कार्यकर्ता का हाथ भी तोड़ डाला है। #CommunistsTerrorInJNUpic.twitter.com/7Vyd0a9KTq
— Nidhi Tripathi JNU (@nidhitripathi92) September 15, 2018
आरएसएस की छात्र इकाई ने आरोप लगाया कि वामपंथी कार्यकर्ता एक छात्र के कमरे में घुस गए और उन्होंने उसे डंडों एवं मुक्कों से पीटा।
अभाविप ने कहा, ‘‘अभाविप छात्रों पर वाम का लक्षित हिंसक हमला परिसर में पैदा हो रहे नापाक मंसूबों का साफ संकेत हैं। आइसा-एसएफआई और उनके सहयोगियों ने जेएनयू परिसर में चीजें बदतर बनाने का फैसला कर लिया है। वामपंथी इस परिसर में हंगामा चाहते हैं।’’
वसंत कुंज पुलिस थाने में अभाविप और आइसा दोनों ने एक-दूसरे के खिलाफ शिकायत दाखिल की है। पुलिस उपायुक्त (दक्षिण-पश्चिम) देवेंदर आर्य ने कहा कि स्थिति नियंत्रण में है और इस संदर्भ में पांच प्राथमिकियां दर्ज की गयी हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘पीसीआर को जेएनयू में झड़प की खबरें तड़के करीब तीन बजे मिली। इसके बाद हमने विश्वविद्यालय के अधिकारियों, छात्रों एवं प्रोफेसरों के साथ चर्चा की।’’
आर्य ने कहा, ‘‘वसंत कुंज (उत्तरी) पुलिस थाने में शिकायतें प्राप्त हुई हैं। गुण-दोष के आधार पर कानूनी कार्रवाई की जा रही है। हालात काबू में है और सामान्य है। पुलिस व्यवस्था की गई है।’’
विश्वविद्यालय परिसर में हिंसा के खिलाफ जेएनयू शिक्षक संघ ने आज शाम एक विरोध मार्च निकाला जिसमें कई छात्रों और विश्वविद्यालय कर्मियों ने भी हिस्सा लिया।
Commies of JNU tried to Lynch outnumbered ABVP students & outrage the modesty of girls.This is the tolerance of Communism towards those who dont subscribe to their blood thirsty ideology. RT max so that everyone gets to see why the whole world has rejected this murderous ideology pic.twitter.com/JpVLNp3Ri6
— Squint Neon (@squintneon) September 15, 2018
जेएनयू की छात्र नेता शहला राशिद ने सोमवार को ट्वीट किया, ‘‘एबीवीपी को अपना ट्विटर हैंडल @ABVPVoice से बदलकर @ABVPViolence कर लेना चाहिए और अपना पूरा नाम अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद से बदल कर अखिल भारतीय वायलेंस (हिंसा) परिषद कर लेना चाहिए।’’
जेएनयू के पूर्व छात्र नेता उमर खालिद ने कहा कि एबीवीपी पिछले तीन दिनों से परिसर में हिंसा कर रही है।
For the last 3 days, ABVP goons are unleashing violence in JNU, beating up students including women. Students rushed to the hospital, FIRs filed. But, the VC @mamidala90 has not spoken a word, tacitly encouraging these goons by his inaction. Shameless creature, blot on JNU! pic.twitter.com/JG3FMfbecU
— Umar Khalid (@UmarKhalidJNU) September 17, 2018
जानेमाने वकील प्रशांत भूषण ने ट्वीट किया, ‘‘जेएनयूएसयू चुनाव 2018 में करारी हार के बाद भी यदि एबीवीपी जेएनयूएसयू के निर्वाचित एवं पूर्व अध्यक्षों पर ऐसी हिंसा कर सकती है तो कल्पना करें कि यदि वे जीत जाते तो क्या-क्या करते। अब आप समझ सकते हैं कि शाह के यह कहने का क्या मतलब है कि ‘यदि हम 2019 में जीते तो हम 50 साल तक राज करेंगे।’’