सिविल न्यायाधीश ने उत्तराखंड उच्च न्यायालय में अपनी बर्खास्तगी को चुनौती दी
By भाषा | Updated: August 11, 2021 17:21 IST2021-08-11T17:21:44+5:302021-08-11T17:21:44+5:30

सिविल न्यायाधीश ने उत्तराखंड उच्च न्यायालय में अपनी बर्खास्तगी को चुनौती दी
नैनीताल, 11 अगस्त अपने आवास पर घरेलू कामकाज करने वाली एक नाबालिग लड़की को कथित रूप से यातना देने के आरोप में पिछले साल पदच्युत सिविल न्यायाधीश ने अपनी बर्खास्तगी को चुनौती देते हुए उत्तराखंड उच्च न्यायालय में याचिका दायर की है।
हरिद्वार की बर्खास्त सिविल न्यायाधीश (सीनियर डिवीजन) दीपाली शर्मा ने मंगलवार को उच्च न्यायालय में दायर अपनी याचिका में दावा किया है कि मामले में जांच करने वाले अधिकारी उनके खिलाफ पूर्वाग्रही थे। पद पर बहाल करने की प्रार्थना करते हुए बर्खास्त सिविल न्यायाधीश ने कहा कि उन्हें मामले में अपना पक्ष रखने के लिए उचित मौका नहीं मिला।
उल्लेखनीय है कि जांच रिपोर्ट के आधार पर उन्हें पिछले साल अक्टूबर में बर्खास्त कर दिया गया था। दीपाली पर आरोप था कि उन्होंने अपने घर में घरेलू कामकाज करने वाली 13 वर्षीय लड़की को यातनाएं दी थीं। याचिका पर अभी सुनवाई होनी है।
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