Bihar MLC Election: 11 सदस्य निर्विरोध निर्वाचित, फिर से बिहार विधान परिषद में दिखेंगे नीतीश कुमार और राबड़ी देवी, मतदान की नौबत नहीं आई
By एस पी सिन्हा | Published: March 14, 2024 04:48 PM2024-03-14T16:48:53+5:302024-03-14T16:49:39+5:30
Bihar MLC Election: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी समेत 11 उम्मीदवार बृहस्पतिवार को राज्य विधान परिषद के लिए निर्विरोध निर्वाचित घोषित किये गये।
Bihar MLC Election: बिहार विधान परिषद के 11 सदस्यों का निर्विरोध निर्वाचन हो गया। राज्यसभा की तरह विधान परिषद के चुनाव में भी मतदान की नौबत नहीं आई। विधान परिषद में 11 सीटें रिक्त थी, जिसमें राजग के छह और महागठबंधन के पांच अभ्यर्थियों के अलावा कोई 12वां दावेदार नामांकन दाखिल नहीं किया था। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित 11 नवनियुक्त सदस्यों को गुरुवार को विधान पार्षद की जीत का प्रमाण पत्र प्रदान किया गया। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और विजय कुमार सिन्हा भी मौजूद रहे। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के अलावा जदयू के खालिद अनवर, भाजपा के मंगल पांडेय, अनामिका सिंह और लाल मोहन गुप्ता को भी जीत का प्रमाण पत्र प्रदान किया गया।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को चौथी बार विधान पार्षद बनने पर विधानसभा अध्यक्ष नंद किशोर यादव ने भी बधाई दी। राजग की ओर से भाजपा के तीन अभ्यर्थियों मंगल पांडेय, अनामिका सिंह और लाल मोहन गुप्ता को विधान परिषद भेजा गया। जबकि जदयू के तरफ से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित खालिद अनवर व हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (हम) के संतोष कुमार सुमन निर्विरोध निर्वाचित हुए।
जबकि महागठबंधन के तरफ से राबड़ी देवी के अलावा राजद से अब्दुल बारी सिद्दीकी, डा. उर्मिला ठाकुर, सैयद फैसल अली और माले से शशि यादव निर्विरोध निर्वाचित हुए। बिहार विधानसभा में विधायकों की दलीय स्थिति देखें तो भाजपा के 78 (कांग्रेस के दो बागी और राजद के 2 बागी विधायक भी भाजपा के साथ, जिससे कुल 82 विधायक भाजपा के होते हैं।
जदयू के 45, 'हम' के चार और एक निर्दलीय विधायक हैं। विपक्ष में राजद के पास 74, कांग्रेस के 17, वाम दल के 15 विधायक हैं। जबकि एआईएमआईएम के एक विधायक हैं। संख्या बल के हिसाब से भाजपा के 3, जदयू के 2 और हम के 1 विधान पार्षद बने हैं, जबकि राजद के चार और वाम दल के एक विधान पार्षद का निर्विरोध निर्वाचन हुआ है।
विधान परिषद में राजद के विधान पार्षदों की संख्या दो बढ़ गई है। वहीं जदयू की संख्या कम गई है और उसके दो विधान पार्षद घट गए हैं। इन सबके बीच भाजपा के लिए कोई बदलाव नहीं हुआ है। कांग्रेस को भी झटका लगा है क्योंकि उसकी रिक्त हो रही सीट पर फिर से नहीं मिली है। इन सबके बीच भाकपा- माले की ओर से पहली बार कोई विधान परिषद में पहुंचा है।