अनुच्छेद 370ः शेहला राशिद ने कश्मीर पर कहा- मैं सबूत तब दूंगी, जब सेना जांच का गठन करेगी, मैंने बयान दे दिया है, क्या सेना ने कोई जांच शुरू की है?
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: August 22, 2019 04:34 PM2019-08-22T16:34:33+5:302019-08-22T16:34:59+5:30
दिल्ली स्थित जंतर मंतर पर द्रविड़ मुन्नेत्र कड़गम (डीएमके) पार्टी के नेतृत्व में विपक्षी दल जम्मू-कश्मीर के हालात को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं। इस प्रदर्शन में शामिल नेताओं की मांग है कि जम्मू-कश्मीर में नजरबंद किए गए नेताओं को रिहा किया जाए
राजनीतिक कार्यकर्ता शेहला राशिद ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह जम्मू-कश्मीर में कथित मानवाधिकार उल्लंघनों के बारे में अपनी टिप्पणी पर कायम हैं।
शेहला राशिद ने गत 18 अगस्त को दावा किया था कि भारतीय सेना जम्मू कश्मीर में अंधाधुंध लोगों को पकड़ रही है, मकानों पर छापे मार रही है और लोगों को प्रताड़ित कर रही है। उनसे जब उनके उन विवादास्पद दावों के बारे में सबूत पूछा गया जिस पर भारतीय सेना की ओर से तीखी प्रतिक्रिया आयी थी।
राशिद ने कहा, ‘‘मैं सबूत तब दूंगी जब भारतीय सेना जांच का गठन करेगी। मैंने आपको अपना बयान दे दिया है। क्या सेना ने कोई जांच शुरू की है?’’ जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्र संघ की पूर्व उपाध्यक्ष ने कहा, ‘‘मैंने जो कुछ कहा है कि वह लोगों के साथ प्रामाणिक बातचीत पर आधारित है जो कश्मीर से आते हैं और उनके झूठ बोलने का कोई कारण नहीं है। मैंने केवल एक नहीं बल्कि कई बयान दिये हैं। कश्मीर में लोगों के पास एलपीजी सिलेंडर, खाना पकाने की गैस खत्म हो रही है।’’
Activist Shehla Rashid on her remarks on the situation in Jammu and Kashmir: I will give the evidence when the Indian Army constitutes an inquiry, I will give the evidence then. pic.twitter.com/ZpZHf64jlz
— ANI (@ANI) August 22, 2019
राशिद ने कहा कि यदि सेना जांच शुरू करे तो वह उसके सामने बयान देंगी और ‘‘उन्हें घटनाओं की जानकारी देंगी...वे कहां हुई हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘उन्हें जांच शुरू करने दीजिये और यदि मैं जो कह रही हूं वह सच पाया जाता है तो भारतीय सेना को भरोसा देना चाहिए कि दोषियों को सजा होगी।’’
ट्विटर पर किये गए दावों के बारे में जब एक संवाददाता ने सबूत मांगे तो राशिद ने कहा, ‘‘मैं आपको सबूत क्यों दूं? मैं ट्वीट क्यों ना करूं? क्या मोदी सरकार के शासन में इसपर रोक है?’’ उन्होंने कहा, ‘‘आपको कश्मीर जाना चाहिए और दिखाना चाहिए कि जमीन पर क्या हो रहा है। यहां धौंसपट्टी से कोई लाभ नहीं होगा। आप वह नहीं दिखा रहे जो मैं कह रही हूं। मैं अफवाह फैलाने के कृत्य में लिप्त नहीं हुई हूं। मैं पूरी तरह से आश्वस्त हूं। मैं अपने बयान पर कायम हूं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘प्रताड़ना हो रही है...कश्मीर में मानवाधिकार का घोर उल्लंघन हो रहा है। यदि आप सरकार के प्रवक्ता बनना चाहते हैं तो कृपया बनें। मैं सरकार की प्रवक्ता नहीं हूं। कृपया जाकर भाजपा मुख्यालय में एक पद लें और चुनाव लड़ें।’’