बिस्वभूषण हरिचंदन ने आंध्र प्रदेश के नए राज्यपाल के रूप में शपथ ली, विभाजन के बाद राज्य के दूसरे राज्यपाल
By भाषा | Published: July 24, 2019 02:13 PM2019-07-24T14:13:18+5:302019-07-24T14:13:18+5:30
हरिचंदन जून 2014 में प्रदेश के विभाजन के बाद राज्य के दूसरे राज्यपाल और आंध्र प्रदेश के लिए खासतौर से नियुक्त किए गए पहले राज्यपाल हैं।
बिस्वभूषण हरिचंदन ने बुधवार को आंध्र प्रदेश के नए राज्यपाल के रूप में शपथ ली। आंध्र प्रदेश उच्च न्यायालय के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश सी प्रवीण कुमार ने विजयवाड़ा में अस्थायी राजभवन में एक कार्यक्रम में राज्यपाल को पद की शपथ दिलाई। जिस परिसर को पहले मुख्यमंत्री के कैम्प कार्यालय के तौर पर इस्तेमाल किया जाता था, उसे नए राज्यपाल के लिए राजभवन के रूप में तब्दील किया गया है।
हरिचंदन जून 2014 में प्रदेश के विभाजन के बाद राज्य के दूसरे राज्यपाल और आंध्र प्रदेश के लिए खासतौर से नियुक्त किए गए पहले राज्यपाल हैं। मुख्यमंत्री वाई एस जगनमोहन रेड्डी, उनके मंत्रिमंडल के सहयोगी, विधायक, मुख्य सचिव एल वी सुब्रह्मण्यम और वरिष्ठ नौकरशाह शपथग्रहण समारोह में शामिल हुए।
हरिचंदन (85) ओडिशा के एक स्वतंत्रता सेनानी परिवार से ताल्लुक रखते हैं। उन्होंने 1961 में ओडिशा उच्च न्यायालय के एक वकील के तौर पर अपने करियर की शुरुआत की थी और 1971 में भारतीय जनसंघ में शामिल हो गए थे। वह 1980 में भाजपा में शामिल हुए और ओडिशा प्रदेश इकाई के अध्यक्ष बने। हरिचंदन भाजपा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी में भी रहे।
Andhra Pradesh: Biswabhusan Harichandan took oath as the new Governor of the state today. Acting Chief Justice of Andhra Pradesh High Court, Justice C Praveen Kumar administered the oath of office to him. pic.twitter.com/ni8NC7WXkl
— ANI (@ANI) July 24, 2019
आपातकाल के दौरान उन्हें 1975 में आंतरिक सुरक्षा व्यवस्था कानून के तहत गिरफ्तार किया गया था। उन्होंने उच्चतम न्यायालय में न्यायाधीशों के ‘दमन’ के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी। साल 1977 में हरिचंदन पहली बार ओडिशा विधानसभा में निर्वाचित हुए और विधि मंत्री बने।
उन्होंने ओडिशा मंत्रिमंडल में कई अन्य पद संभाले। हरिचंदन अच्छे लेखक भी हैं और विभिन्न मुद्दों पर उनके लेख ओडिशा में समाचारपत्रों मे प्रकाशित होते रहते हैं। उनकी कई किताबें भी प्रकाशित हुई हैं।