अनंतनाग एनकाउंटर चौथे दिन भी जारी, 3 हजार से अधिक जवान लगे ऑपरेशन में, लंबी चल सकती है आतंकियों के खिलाफ जंग

By सुरेश एस डुग्गर | Published: September 16, 2023 11:56 AM2023-09-16T11:56:02+5:302023-09-16T11:57:32+5:30

मात्र 3 से 4 आतंकियों से मुकाबले को 3 हजार से अधिक जवान है और अंत कहीं नजर नहीं आ रहा। इस मुठभेड़ के चौथे दिन में प्रवेश से साफ है की आतंकी पूरी तैयारी के साथ आए हैं।

Anantnag encounter continues for the fourth day more than 3 thousand soldiers engaged in operation | अनंतनाग एनकाउंटर चौथे दिन भी जारी, 3 हजार से अधिक जवान लगे ऑपरेशन में, लंबी चल सकती है आतंकियों के खिलाफ जंग

अनंतनाग एनकाउंटर खत्म होने का नाम नही ले रहा है

Highlightsअनंतनाग एनकाउंटर खत्म होने का नाम नही ले रहा हैसुरक्षा बलों के साथ शुरू हुई जंग आज चौथे दिन भी जारीमुकाबले को 3 हजार से अधिक जवान हैं

जम्मू: अनंतनाग एनकाउंटर खत्म होने का नाम नही ले रहा है। मंगलवार देर रात से सुरक्षा बलों के साथ शुरू हुई जंग आज चौथे दिन भी जारी थी। मात्र 3 से 4 आतंकियों से मुकाबले को 3 हजार से अधिक जवान है और अंत कहीं नजर नहीं आ रहा। इस मुठभेड़ के चौथे दिन में प्रवेश से साफ है की आतंकी पूरी तैयारी के साथ आए हैं। उनके पास गोला बारूद और खाने पीने के समान की कोई कमी नही हैं।

सुरक्षा बलों से मिली जानकारी के मुताबिक मंगलवार को सेना और पुलिस को इनफॉर्मर से इनपुट मिली कि कोकरनाग इलाके में गदुल में आतंकी छिपे है । इलाके को घेरकर तलाशी ली गई तो कुछ नही मिला । बस यह जानकारी मिली कि आतंकी पहाड़ी के ऊपर चोटी वाले हिस्से में हैं। सेना और पुलिस की टीम ने आतंकियों पर धावा बोलने का फैसला लिया।

पहाड़ी पर ऊपर चढ़ने का रास्ता काफी चुनौती से भरा था। संकरा रास्ता था । एक तरफ पहाड़ व घना जंगल था तो दूसरी तरफ गहरी खाई। ऊपर से रात का अंधेरा था। आगे 19 राष्ट्रीय राइफल्स के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल मनप्रीत सिंह फिर मेजर आशीष और उसके बाद पुलिस के डीएसपी हुमायूं भट्ट थे। ऊपर हाईड आउट में आतंकी सुरक्षा बलों को नीचे से ऊपर आते हुए देख सकते थे। अपने गुफा के पास आते ही आतंकियों ने भारी गोलाबारी शुरू कर दी । सेना और पुलिस को संभलने का मौका नही मिला। रास्ता भी ऐसा था जहां चाहकर भी किसी चीज का आड़ लेकर जोरदार जवाबी कार्रवाई नही कर सकते थे। साथ मे नीचे गिरने का खतरा था।

जब सेना के कर्नल , मेजर और पुलिस के डीएसपी को गोली लग गई तो उनको तुरंत वहां से अस्पताल नही पहुंचाया जा सका। उस जगह पर जबरदस्त फायरिंग हो रही थी।  ना तो हेलीकॉप्टर उतारा जा सका और ना ही घायल अधिकारियों को मेडिकल मदद मिल सकी । बहुत मुश्किल से सुबह तीनों के शव निकाला जा सका।

इसके बाद से सुरक्षा बलों ने आतंकियों के छुपने वाली पहाड़ी को हर तरफ से घेर लिया है। इजराइल से खरीदे गए हेरॉन ड्रोन के जरिये उस जगह पर विस्फोटक गिराया जा रहा है। रॉकेट लांचर दागा जा रहा है। स्पेशल फोर्सेज के जवान भी लगातार हमले बोल रहे हैं । मुश्किल यह है कि सेना अभी तक एरिया को डोमिनेट नही कर पाई है। उस जगह की भौगोलिक सरंचना ऐसी है जहां ऑपेरशन करने में काफी दिक्कत आती है।

जानकारी के मुताबिक इन पहाड़ी इलाकों में आतंकियों की तादाद दो तीन से कही ज़्यादा हैं। इनमें पिछले साल लश्कर तोयबा में शामिल हुआ उजैर खान भी शामिल हैं। इसको इलाके की पूरी जानकारी है जिसका फायदा आतंकी को मिल रहा हैं। सुरक्षा से जुड़े जानकारों के अनुसार इतने दिनों तक सामान्य आतंकी सुरक्षा बलों के सामने टिक नही सकते हैं  । इनकी ट्रेनिंग आला दर्जे की है और हथियार भी बेजोड़ हैं। यह भी हो सकता है इनफॉर्मर ने डबल क्रॉस कर दिया है या फिर किसी ने सुरक्षा बलों की मूवमेंट लीक कर दी हो। जो भी यह ऑपेरशन खत्म करना सुरक्षा बलों के बड़ी चुनौती बन गई है। सेना और पुलिस के अधिकारियों का अंतिम संस्कार तो हो गया पर उन्हें सही मायने में सच्ची श्रद्धांजलि तभी मिलेगी जब इन आतंकियों को ढेर किया जा सके।

Web Title: Anantnag encounter continues for the fourth day more than 3 thousand soldiers engaged in operation

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