श्रीनगर, 4 जुलाई: जम्मू कश्मीर के गांदेरबल जिले में अमरनाथ यात्रा के बालटाल मार्ग पर मंगलवार आधी रात भूस्खलन में पांच लोगों की मौत हो गयी और तीन अन्य घायल हो गये।
एक पुलिस अधिकारी ने कहा , ‘‘ बालटाल मार्ग पर रेलपत्री और बरारीमार्ग के बीच भूस्खलन हुआ। ’’ उन्होंने कहा कि चार पुरूषों और एक महिला सहित पांच लोगों की मौत हो गई जबकि तीन अन्य घायल हुये है।
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उन्होंने कहा कि मृतकों और घायलों की पहचान नहीं हो पाई है और शवों को बालटाल आधार अस्पताल लाया जा रहा है। अधिकारी ने कहा कि पुलिस , अन्य सुरक्षा बल तथा बचाव एजेंसियां काम में जुटे हैं।
बालटाल आधार शिविर पर अचनाक बाढ़ आई
मंगलवार दिन में जम्मू कश्मीर में अमरनाथ यात्रा के आधार शिविर बालटाल के कार पार्किंग स्थल पर अचानक से बाढ़ आ गई , लेकिन घटना में किसी के हताहत होने की खबर नहीं है। पुलिस ने ट्विटर पर कहा कि मध्य कश्मीर के गांदरबल जिले के बालटाल के कार पार्किंग स्थल पर मामूली बाढ़ आ गई। गाद को हटाने का काम करने के साथ ही पानी को निकालने के लिए रास्ता बना या जा रहा है । सिंचाई एवं बाढ़ नियंत्रण विभाग अलर्ट है। छोटे वाहनों को सोनमार्ग पर ट्रक यार्ड ले जाया जा रहा है। उन्होंने कहा कि राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) की टीम पुलिस के साथ मौके पर है।
अबकी अमरनाथ यात्रा में पहले ही हो चुकी है छह श्रद्धालुओं की मौत
कश्मीर में पवित्र अमरनाथ गुफा के लिये जाने के दौरान अब तक अलग - अलग कारणों से छह श्रद्धालुओं की पहले ही मौत हो चुकी है। पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि आंध्र प्रदेश में फिवालायम की रहने वाली थोटा राधनम नामक 75 वर्षीय महिला की आज सुबह बालताल आधार शिविर की एक सामुदायिक रसोई में मौत हो गयी। आशंका है कि उन्हें दिल का दौरा पड़ा था। अधिकारी ने बताया कि आंध्र प्रदेश के अनंतपोरा के रहने वाले राधा कृष्ण शास्त्री (65) की भी गुफा के निकट संगम में दिल का दौरा पड़ने से मौत हुई। उन्होंने बताया कि आगे की कानूनी प्रक्रियाओं के लिये मृतक श्रद्धालुओं के शवों को बालताल आधार शिविर अस्पताल में रखा गया है। अधिकारी ने बताया कि उत्तराखंड के रहने वाले पुष्कर जोशी कल बराड़ीमार्ग एवं रेलपथरी के बीच पहाड़ से पत्थरों के गिरने के चलते घायल हो गये। आज सुबह अस्पताल में उन्होंने दम तोड़ दिया।
अमरनाथ यात्रा को लेकर स्थानीय लोगों की भागीदारी बेहद कम, आखिर क्यों नहीं दिखाते उत्साह?इसके साथ ही इस साल यात्रा के दौरान मरने वाले लोगों की तादाद बढ़कर छह हो गयी। इससे पहले बीएसएफ के एक अधिकारी , एक यात्रा स्वयंसेवी एवं एक पालकी ढोने वाले की मौत हुई थी।