उत्तर प्रदेश में इमारतों के भगवा रंग में रंगने का सिलसिला थमता नज़र नहीं आ रहा है। ताजा मामला प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव के गृह जनपद इटावा में 100 से ज्यादा सरकारी शौचालयों को केसरिया रंग में रंगने का है। कुछ मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया है कि करीब 350 शौचालयों को भगवा रंगा गया है। इससे पहले यूपी की राजधानी लखनऊ स्थित हज हाउस की बाहरी दीवारों, कुछ पुलिस थानों और सचिवालय को केसरिया रंग में रंगने का मामला मीडिया में उछला था। हालांकि हज हाउस की दीवारों को मीडिया में खबर आने के बाद रातोंरात वापस पुराने रंग में रंग दिया गया था।
इटावा में शौचालयों के भगवा रंग में रंगे जाने पर समाजवादी पार्टी ने बीजेपी पर तंज कसा है। अखिलेश यादव ने समाचार एजेंसी पीटीआई से कहा, "भगवा वाले बाथरूम में कोई जाएगा तो सोचो किसका अपमान होगा...इसने धर्म का भी अपमान किया है...बताओ भगवा कर दिया...ये धर्म का अपमान करने वाली सरकार है।"
अखिलेश यादव ने आगे कहा, "उन्होंने पहले शौचालयों का नाम इज्जतघर रखा, और अब उस इज्जत पर रंग पोत रहे हैं।" अखिलेश यादव ने आरोप लगाया कि योगी आदित्यनाथ सरकार लोगों की भलाई के लिए काम करने के बजाय ध्यान बंटाने वाले कामों में व्यस्त है।
अमृतपुर के बसरेहर गांव में स्थित इन शौचालयों को स्वच्छ भारत अभियान के तहत रंगवाया गया है। इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार करीब 100 शौचालयों को भगवा रंगवाया गया है। हालांकि ग्राम पंचायत इस फैसले के पीछे किसी तरह के राजनीतिक दबाव से इनकार किया।