चुनाव जीतने के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं का कोहराम, एमपी-छत्तीसगढ़ और राजस्‍थान में ऐसे हैं हालात

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: December 14, 2018 10:00 AM2018-12-14T10:00:25+5:302018-12-14T10:00:25+5:30

छत्तीसगढ़ में भी कमोबेश ऐसी ही स्थिति है, जहां कांग्रेस के दो बड़े नेताओं भूपेश बघेल और टी.एस. सिंह देव के समर्थक शक्ति प्रदर्थन में लगे हुए हैं.

After winning the MP Chhattisgarh and Rajasthan election Congress workers are fire on the name of cm | चुनाव जीतने के बाद कांग्रेस कार्यकर्ताओं का कोहराम, एमपी-छत्तीसगढ़ और राजस्‍थान में ऐसे हैं हालात

फाइल फोटो

राजस्थान, मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री को लेकर कांग्रेस में माथापच्ची जारी है. वहीं अपने-अपने प्रदेश की राजधानियों में सीएम पद के दावेदारों के समर्थकों का कोहराम जारी है. कहीं पोस्टरबाजी, तो कहीं नारेबाजों ने पार्टी कार्यालय, नेताओं के घरों के सामने डेरा डाल रखा है. सीएम के नामों की घोषणा में हो रही देरी को देखकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं और समर्थकों का सब्र जवाब दे रहा है.

इस बीच जयपुर-आगरा हाइवे पर सचिन पायलट के समर्थकों ने उनको सीएम घोषित करने की मांग करते हुए जाम लगा दिया. वहीं करौली में रोड भी ब्लॉक कर दिया है. समर्थकों ने ट्रैफिक को रोककर आगजनी भी की है. तीन राज्यों की राजधानियों में गुटबाजी का आलम यह है कि राजस्थान में सचिन पायलट और अशोक गहलोत, मध्य प्रदेश में ज्योतिरादित्य सिंधिया और कमलनाथ और छत्तीसगढ़ में भूपेश बघेल और टी.एस. सिंह देव के समर्थक आमने-सामने आ गए हैं.

बार-बार विधायक दल की बैठक और कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के सामने आने का समय टलता जा रहा है, जिससे स्थिति काबू से बाहर होती दिख रही है. मध्यप्रदेश में कमलनाथ और सिंधिया समर्थकों के बीच पोस्टर वॉर अभी भी जारी है. भोपाल में कांग्रेस दफ्तर के बाहर कमलनाथ समर्थकों ने पोस्टर लगाकर उनके मुख्यमंत्री बनने की बधाई भी दे डाली.


वहीं सिंधिया के समर्थक ऐसे पोस्टर लेकर बाहर जुटे हैं, जिनपर लिखा है- 'माफ करो शिवराज, हमारे सीएम महाराज'. हालत यह है कि भोपाल में विधायक दल की बैठक का वक्त भी बार-बार बदलना पड़ रहा है. पहले शाम छह बजे तय हुआ था, फिर यह रात 9:00 बजे हुआ और अब ताजा समय आने को है. हालात को देखते हुए कमलनाथ के घर की सुरक्षा बढ़ा दी गई है. भोपाल में उनके आवास के बाहर सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया गया है.

दिग्गी कर रहे अलग बैठक

उधर मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और दो बार राज्य के सीएम रह चुके दिग्विजय सिंह भोपाल में अलग बैठक कर रहे हैं. हालांकि उन्होंने गरमा-गरम माहौल में किसी तरह की टिप्पणी करने से खुद को रोके रखा लेकिन इन सबके पीछे भाजपा को लपेटना नहीं भूले. उन्होंने कहा, ''पार्टी कार्यालय और नेताओं के घरों के बाहर जमा भीड़ अगर कांग्रेस कार्यकर्ताओं की है, तो यह जश्न है.

लेकिन क्या पता वे भाजपा के लोग भी हो सकते हैं!'' जयपुर में जारी है नारेबाजी जयपुर से लेकर दिल्ली तक कांग्रेस दफ्तर के बाहर अशोक गहलोत और सचिन पायलट के समर्थक जुटे हुए हैं. लगातार दोनों के समर्थकों द्वारा अपने-अपने नेताओं के पक्ष में नारेबाजी की जा रही है और मुख्यमंत्री बनाने की मांग की जा रही है.

छग का भी यही हाल

तीसरे राज्य छत्तीसगढ़ में भी कमोबेश ऐसी ही स्थिति है, जहां कांग्रेस के दो बड़े नेताओं भूपेश बघेल और टी.एस. सिंह देव के समर्थक शक्ति प्रदर्थन में लगे हुए हैं. यहां दोनों नेताओं के समर्थकों के बीच झड़प होने की भी खबर है. बता दें कि बुधवार को रायपुर में हुई विधायकों की बैठक में यह फैसला लिया गया था कि मुख्यमंत्री के नाम पर फैसला कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी करें.

English summary :
Congress is busy in deciding the chief minister of Rajasthan, Madhya Pradesh, Chhattisgarh, after getting majority in the MP, Rajasthan and Chhattisgarh Vidhan Sabha Chunav 2018.


Web Title: After winning the MP Chhattisgarh and Rajasthan election Congress workers are fire on the name of cm

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