2018 से 2023 तक जम्मू-कश्मीर में 184 नागरिक, 319 सुरक्षाकर्मी मारे गए, केंद्र ने राज्यसभा में दी जानकारी
By मनाली रस्तोगी | Published: August 9, 2023 04:44 PM2023-08-09T16:44:13+5:302023-08-09T16:45:59+5:30
केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने एक लिखित उत्तर में कहा कि मुठभेड़ों और जवाबी अभियानों के दौरान कुल 35 नागरिक मारे गए।
नई दिल्ली: केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय ने बुधवार को राज्यसभा में कहा कि 2018 से जुलाई 2023 तक जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों द्वारा की गई हिंसा की 791 घटनाओं में 184 नागरिक और 319 सुरक्षाकर्मी मारे गए। समाचार एजेंसी एएनआई ने यह जानकारी साझा की। एएनआई की रिपोर्ट के अनुसार, केंद्रीय गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने एक लिखित उत्तर में कहा कि मुठभेड़ों और जवाबी कार्रवाई के दौरान 35 नागरिक मारे गए।
गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय ने कहा, "पिछले पांच वर्षों के दौरान केंद्र शासित प्रदेश लद्दाख में कोई आतंकी हमले की सूचना नहीं मिली है। इसलिए आतंकी हमलों में हताहत होने का सवाल ही नहीं उठता। पिछले पांच वर्षों में देश के भीतरी इलाकों में 5 आतंकवादी घटनाएं हुईं और 3 नागरिक मारे गए, सशस्त्र बलों की कोई हताहत नहीं हुई और 1 आतंकवादी मारा गया।"
मंत्री ने कहा कि सरकार की आतंकवाद के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति है और दावा किया कि जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा स्थिति में काफी सुधार हुआ है। राय ने कहा, "जम्मू-कश्मीर में आतंकवादी हमलों के किसी भी प्रयास को विफल करने के लिए एक मजबूत सुरक्षा और खुफिया ग्रिड मौजूद है।"
319 Security personnel killed from 2018 to 31st July 2023 in Union Territory in Jammu and Kashmir, while 791 terrorist incidents, 35 civilians were killed during encounters and counter operations: MoS Home Nityanand Rai in a written reply to Rajya Sabha
— ANI (@ANI) August 9, 2023
उन्होंने कहा, "इसके अलावा आतंकवादी घटनाओं को रोकने और घाटी में नागरिकों के जीवन की सुरक्षा के लिए सरकार द्वारा उठाए गए कदमों में स्थिर गार्ड के रूप में समूह सुरक्षा, रणनीतिक बिंदुओं पर नाकों पर चौबीस घंटे जांच, रात्रि गश्त और क्षेत्र प्रभुत्व, कमजोर लोगों की पहचान शामिल है। पुलिस, सेना, केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (सीएपीएफ) की उचित तैनाती के माध्यम से स्थानों, सुरक्षा व्यवस्था और गहन घेराबंदी और तलाशी अभियान।"