World AIDS Day : HIV/AIDS से जुड़ी ये 4 बातें बिल्कुल भी नहीं हैं सच

By उस्मान | Updated: November 30, 2018 11:48 IST2018-11-30T11:48:50+5:302018-11-30T11:48:50+5:30

Myths related to HIV/AIDS: आपने इस बीमारी के बारे में बहुत पढ़ा और सुना होगा, बावजूद इसके कई लोग इस बीमारी से जुड़े कुछ मिथकों पर आंख बंद करके विश्वास करते हैं। 1 दिसंबर को वर्ल्ड एड्स डे (World AIDS Day) इस अवसर पर हम आपको एचआईवी/एड्स से जुड़े कुछ ऐसे मिथकों का सच बता रहे हैं जिनका सच आपको पता होना चाहिए।

World AIDS Day 2018 : 4 Myths About HIV Busted | World AIDS Day : HIV/AIDS से जुड़ी ये 4 बातें बिल्कुल भी नहीं हैं सच

फोटो- पिक्साबे

एचआईवी/एड्स एक खतरनाक बीमारी है जिसका सिर्फ बचाव ही इलाज है। डब्ल्यूएचओ के साल 2017 के एक आंकड़े के अनुसार, इस जानलेवा बीमारी से लगभग 36।9 मिलियन लोग पीड़ित हैं। असुरक्षित सेक्स के अलावा इस बीमारी के कई कारण हैं। एचआईवी संक्रमण की चपेट में आने पर कई लोगों में कोई लक्षण दिखाई नहीं देते हैं। कई दिन या हफ्तों के बाद कुछ लोगों में फ्लू जैसा बीमारी के लक्षण दिखाई पड़ते हैं। आपने इस बीमारी के बारे में बहुत पढ़ा और सुना होगा, बावजूद इसके कई लोग इस बीमारी से जुड़े कुछ मिथकों पर आंख बंद करके विश्वास करते हैं। 1 दिसंबर को वर्ल्ड एड्स डे (World AIDS Day) इस अवसर पर हम आपको एचआईवी/एड्स से जुड़े कुछ ऐसे मिथकों का सच बता रहे हैं जिनका सच आपको पता होना चाहिए। 

1) एचआईवी और एड्स एक ही स्थिति हैं
वास्तव में एचआईवी के तीन चरण हैं और एचआईवी का इलाज नहीं कराने पर कम से कम दस साल के अंदर व्यक्ति को एड्स हो सकता है। इसके पहले चरण से पहले व्यक्ति को दो से चार हफ्तों में एचआईवी के लक्षण महसूस होने लगते हैं जबकि पहले चरण में व्यक्ति को फ्लू, थकान, सर्दी और बुखार जैसे लक्षण महसूस होते हैं। दूसरे चरण में एचआईवी का इलाज शामिल है जहां पीड़ित के लक्षणों को दवाओं के जरिए दबाने की कोशिश की जाती है और एचआईवी की फैलने का कम खतरा होता है। तीसरा चरण वो है जिसमें कोई व्यक्ति एचआईवी की दवा नहीं ले रहा है यानी उसे एड्स का खतरा होता है। 

2) सिर्फ गे लोगों को एचआईवी हो सकता है 
1980 के दशक में अमेरिका में अधिकतर गे लोग ही एचआईवी संक्रमण का शिकार हुए। क्योंकि इस रोग का पहली बार समलैंगिक पुरुषों में ही पता चला था।  यूएएस हेल्थ एंड ह्यूमन सर्विस डिपार्टमेंट (एचएचएस) के अनुसार, कोई भी व्यक्ति एचआईवी की चपेट में आ सकता है लेकिन कुछ समूह, जैसे अफ्रीकी अमेरिकियों, लैटिनोस, और समलैंगिकों को इसका अधिक खतरा होता है। 

3) एचआईवी सी पीड़ित लोग नॉर्मल लाइफ नहीं जी सकते 
आधुनिक चिकित्सा की वजह से एचआईवी से पीड़ित लोगों का नॉर्मल लाइफ जीना काफी हद तक संभव हो गया है। एक रिपोर्ट के अनुसार, यूरोप और उत्तरी अमेरिकी में एचआईवी से पीड़ित पुरुष और महिलाएं का जीवन क्रमशः 73 और 76 है।  अगर एचआईवी के साथ आपको टीबी, इन्फेक्शन और कैंसर जैसे रोग नहीं है, तो आप सामान्य उपचार के साथ बेहतर जीवन जी सकते हैं।  

4) एचआईवी का इलाज संभव है
वैज्ञानिकों को एचआईवी के इलाज में बड़ी प्रगति हुई है। लेकिन प्रगति के बावजूद, अभी भी इसका कोई सम्पूर्ण इलाज नहीं है। साल 2016 में, संयुक्त राष्ट्र ने नए लक्ष्यों की घोषणा की जिसके तहत 2030 तक एचआईवी महामारी को खत्म करने का लक्ष्य है। इन लक्ष्यों में उपचार के लिए ज्यादा लोगों को शामिल करना, रोकथाम में तेजी लाना और बच्चों के बीच नए एचआईवी संक्रमण को रोकना शामिल है।

English summary :
World AIDS Day: HIV/AIDS is a dangerous disease and precaution is it's only treatment. According to a WHO statement of 2017, about 36.9 million people suffer from this deadly disease. In addition to unprotected sex, there are many reasons for this disease. on 1 December, World AIDS Day occasion, we are telling you the truth of some myths related to HIV/AIDS that you must know.


Web Title: World AIDS Day 2018 : 4 Myths About HIV Busted

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