पत्नी का आरोप: अस्पताल ने बिल बकाया होने के कारण नहीं दिया शव, तो अब अदालत का किया रुख
By भाषा | Published: July 24, 2020 05:02 AM2020-07-24T05:02:16+5:302020-07-24T05:02:16+5:30
महिला का पति चौकीदार के तौर पर काम करता था। उन्हें 13 जुलाई को तेज बुखार तथा सांस लेने में परेशानी की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
हैदराबाद: एक महिला ने तेलंगाना उच्च न्यायालय का रुख कर आरोप लगाया कि उसके पति की कोरोना वायरस के कारण मौत हो गई है और एक निजी अस्पताल ने बिल बकाया होने की वजह से शव नहीं दिया है। महिला दिहाड़ी मजदूर है और उसने रिट याचिका में अदालत से राहत का अनुरोध किया है।
महिला का पति चौकीदार के तौर पर काम करता था। उन्हें 13 जुलाई को तेज बुखार तथा सांस लेने में परेशानी की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था। महिला ने याचिका में कहा कि अस्पताल के डॉक्टरों ने उसे सूचित किया कि उसके पति की कोरोना वायरस से कारण बुधवार को मौत हो गई।
महिला के वकील ने बताया कि याचिका को सूचीबद्ध कर दिया गया है और मामले पर शुक्रवार को सुनवाई होगी। याचिकाकर्ता ने उधार लेकर शुरू में 2.50 लाख रुपये जमा कर दिए थे और 22 जुलाई को अस्पताल ने उसे बताया कि इलाज का कुल बिल 8.91 लाख रुपये है।
इस बीच कांटिनेंटल अस्पताल के सीईओ राहुल मेदाक्कारिन ने एक बयान में आरोपों का खंडन किया।