वैभव गहलोत ने राजस्थान क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया, बीजेपी पर लगाए द्वेष भावना से कार्रवाई करने का आरोप

राजस्थान क्रिकेट संघ (आरसीए) के अध्यक्ष वैभव गहलोत ने सोमवार, 26 फरवरी को अपने पद से इस्तीफा देने की घोषणा की। वैभव ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर अपने इस्तीफा की घोषणा की।

By शिवेन्द्र कुमार राय | Published: February 26, 2024 05:49 PM2024-02-26T17:49:09+5:302024-02-26T17:50:04+5:30

Vaibhav Gehlot resigns from the post of President of Rajasthan Cricket Association | वैभव गहलोत ने राजस्थान क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दिया, बीजेपी पर लगाए द्वेष भावना से कार्रवाई करने का आरोप

(फाइल फोटो)

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Highlightsवैभव गहलोत ने राजस्थान क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दियाबीजेपी पर लगाए द्वेष भावना से कार्रवाई करने का आरोपवैभव ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर अपने इस्तीफा की घोषणा की

जयपुर: राजस्थानक्रिकेट संघ (आरसीए) के अध्यक्ष वैभव गहलोत ने सोमवार, 26 फरवरी को अपने पद से इस्तीफा देने की घोषणा की। वैभव ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स' पर अपने इस्तीफा की घोषणा की।  उन्होंने आरोप लगाया कि राजस्थान में सरकार बदलने के बाद से RCA के साथ एक द्वेष भावना से कार्रवाई करना शुरू किया गया

एक्स पर एक लंबी पोस्ट में वैभव गहलोत ने कहा, "वर्ष 2019 में मैंने राजस्थान क्रिकेट संघ (RCA) के अध्यक्ष के तौर पर निर्वाचित होने के बाद काम करना शुरू किया। सभी जानते हैं कि 2017 में श्री सीपी जोशी के RCA अध्यक्ष बनने से पहले पूर्ववर्ती भाजपा सरकार के कार्यकाल के दौरान RCA में कैसे हालात थे एवं राजस्थान में क्रिकेट की कैसी दुर्दशा थी। BCCI द्वारा RCA पर प्रतिबंध तक लगा दिया गया जिसके कारण यहां ना क्रिकेट मैच हो सकते थे और ना ही राजस्थान की क्रिकेट टीम किसी टूर्नामेंट में भाग ले सकती थी। श्री सीपी जोशी के बाद मुझे इस पद पर काम करने का मौका मिला एवं उन्होंने सरंक्षक बनकर हमारा मार्गदर्शन किया। मेरा उद्देश्य राजस्थान में क्रिकेट को बढ़ावा देने और युवाओं को अधिक से अधिक इस खेल से जोड़ने का रहा।"

"राजस्थान में लम्बे समय तक अतंरराष्ट्रीय एवं IPL क्रिकेट मैच नहीं हुए थे। मैंने BCCI के स्तर पर प्रयास कर जयपुर में पहले अंतरराष्ट्रीय फिर IPL मैच जयपुर में आयोजित करवाने की स्वीकृति BCCI से ली और यहां दोनों प्रकार के मैच सफलतापूर्वक आयोजित किए गए। राजस्थान की प्रतिभाओं को खेलने के अधिक मौके मिल सकें इसलिए राजस्थान प्रीमियर लीग (RPL) का आयोजन किया जिसके मैच जयपुर और जोधपुर में सफलतापूर्वक आयोजित किए गए।"

उन्होंने आगे कहा, "मेरा प्रयास रहा कि राजस्थान में क्रिकेट केवल जयपुर शहर तक ही सीमित ना रहे इसलिए राजस्थान सरकार के साथ सामंजस्य कर जोधपुर में बरकतुल्लाह खान स्टेडियम के जीर्णोद्धार का काम करवाया एवं वहां RPL मैच आयोजित किए गए। उदयपुर में अंतरराष्ट्रीय मैचों के लिए क्रिकेट स्टेडियम बनाने का काम शुरू किया गया। अन्य शहरों में भी क्रिकेट स्टेडियम बनाने की संभावना तलाशना शुरू किया गया।"

"RCA के पास अपना कोई स्टेडियम नहीं है। RCA राजस्थान सरकार के साथ करार कर SMS स्टेडियम में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच आयोजित किए जाते थे। RCA के पास अपना स्टेडियम हो इसके लिए जयपुर दिल्ली रोड पर वेदांता समूह के साथ मिलकर एक नए स्टेडियम का निर्माण शुरू किया जो दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा क्रिकेट स्टेडियम होगा। मेरे प्रयासों से वेदांता ने 300 करोड़ रुपये इस स्टेडियम के लिए दिए जिसमें से 60 करोड़ रूपये निर्माण कार्य में लग चुके हैं।इससे जयपुर के आसपास एक नई क्रिकेट इकॉनमी भी बनेगी और खेल के साथ रोजगार को भी बढ़ावा मिलेगा।"

"मैंने अपने पूरे कार्यकाल में क्रिकेट की बेहतरी और RCA का नाम ऊंचा करने का प्रयास किया इसी कारण मुझे दूसरी बार RCA का निर्विरोध अध्यक्ष निर्वाचित किया गया। परन्तु राजस्थान में सरकार बदलने के बाद से RCA के साथ एक द्वेष भावना से कार्रवाई करना शुरू किया गया। एक गैर-बाजिव तरीके से जल्दबाजी में RCA के दफ्तर की तालेबंदी तक कर दी गई। अब मुझे लक्ष्य करके राजस्थान क्रिकेट संघ में अविश्वास का माहौल बनाने के प्रयास शुरू कर दिए हैं। इससे प्रदेश में क्रिकेट का जो सकारात्मक माहौल बना है उसके खराब होने का भी अंदेशा हो गया है। ऐसे में मेरे लिए यह असहनीय है कि राज्य में IPL के मैचों पर कोई संकट आए एवं क्रिकेट को नुकसान हो। अतः प्रदेश की क्रिकेट एवं क्रिकेट खिलाड़ियों को इस स्थिति से बचाने के लिए मैं राजस्थान क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद से स्वेच्छा से इस्तीफा देता हूं।"

"अभी-अभी मुझे जानकारी मिली है कि मेरे खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पेश भी कर दिया है। इस संबंध में मुझे इतना कहना है कि RCA के किसी भी पदाधिकारी या सदस्य ने मुझसे चर्चा नहीं की एवं ना ही किसी मुद्दे पर असहमति व्यक्त की अन्यथा मैं तो पहले ही अपना इस्तीफा दे चुका होता। मेरे लिए पद नहीं राज्य की क्रिकेट व क्रिकेट खिलाड़ियों का भविष्य महत्वपूर्ण है और इस पर कभी आंच नहीं आने दूंगा। मैं भविष्य में राजस्थान की क्रिकेट, क्रिकेटरों एवं क्रिकेट प्रेमियों के हितों के लिए सदैव उपलब्ध रहूंगा।"

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