HighlightsJay Shah ICC Chairman PCB: पैंतीस वर्ष के जय शाह एक दिसंबर को पदभार ग्रहण करेंगे। Jay Shah ICC Chairman PCB: न्यूजीलैंड के 62 वर्षीय ग्रेग बार्कले की जगह लेंगे।Jay Shah ICC Chairman PCB: लगातार तीसरी बार दावेदारी नहीं करने का फैसला किया।
Jay Shah ICC Chairman PCB: वही हुआ जिसकी उम्मीद सभी कर रहे थे। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) के नव-निर्वाचित चेयरमैन जय शाह ने 24 अगस्त को इतिहास रच दिया। पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड का एकमात्र सदस्य, जिसने आईसीसी अध्यक्ष के रूप में जय शाह को वोट नहीं दिया है। रिपोर्ट में खुलासा हुआ है। वर्ष 2019 से बीसीसीआई सचिव की भूमिका निभा रहे 35 वर्षीय शाह 62 वर्षीय ग्रेग बार्कले से एक दिसंबर को पदभार ग्रहण करेंगे। शाह को इस पद पर निर्विरोध चुना गया। वह इतिहास में दुनिया की शीर्ष क्रिकेट संस्था की शीर्ष कुर्सी पर बैठने वाले सबसे कम उम्र के व्यक्ति बन गए।
हालाँकि एक बोर्ड ऐसा भी था, जिसने मौजूदा बीसीसीआई सचिव के लिए वोट नहीं किया था। News18 की एक रिपोर्ट के अनुसार, ICC के 16 में से 15 सदस्यों ने विश्व क्रिकेट की संचालन संस्था के नए अध्यक्ष के रूप में जय शाह का समर्थन किया। हालांकि, एकमात्र बोर्ड जिसने उनके लिए वोट नहीं किया वह पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड था। पीसीबी ने पूरी प्रक्रिया के दौरान केवल मूकदर्शक की भूमिका निभाई।
क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया और ईसीबी जैसे दिग्गजों ने अपना पूरा समर्थन दिया। इससे अंततः कोई फर्क नहीं पड़ा, क्योंकि शाह को निर्विरोध चुना गया था। “पीसीबी की ओर से कोई संदेश नहीं आया। ऐसा नहीं है कि इसकी आवश्यकता थी, क्योंकि शाह को सदस्यों का भारी समर्थन प्राप्त था। पाकिस्तान बोर्ड ने पूरी प्रक्रिया के दौरान एक दर्शक की भूमिका निभाना पसंद किया।
अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) के नव-निर्वाचित चेयरमैन जय शाह ने कहा है कि अपने कार्यकाल में यह सुनिश्चित करेंगे कि टेस्ट क्रिकेट खेल का ‘आधार’ बने और इस दौरान वह ‘क्रिकेट की प्रगति में बाधा डालने वाली बाधाओं को दूर करने’ का भी प्रयास करेंगे। न्यूजीलैंड के बार्कले ने दो साल के लगातार तीसरे कार्यकाल के लिए चुनाव नहीं लड़ने का फैसला किया।
केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के बेटे जय शाह को अब बीसीसीआई सचिव का पद छोड़ना होगा, जिस पर वह 2019 से काबिज हैं। बोर्ड की आमसभा की बैठक अगले महीने या अक्तूबर में होगी। शाह से पहले दिवंगत जगमोहन डालमिया, शरद पवार, एन श्रीनिवासन और शशांक मनोहर आईसीसी में शीर्ष पर काबिज होने वाले भारतीय रहे हैं।
अहमदाबाद के रहने वाले क्रिकेट प्रशासक शाह चेयरमैन पद के अकेले दावेदार थे। नयी तकनीकों को अपनाने और नये वैश्विक बाजारों में बड़े टूर्नामेंट कराने पर जोर दिया। भारतीय बोर्ड आईसीसी के राजस्व में 75 प्रतिशत से अधिक योगदान देता है। समझा जाता है कि एसईएनए क्रिकेट बोर्ड (दक्षिण अफ्रीका, इंग्लैंड, न्यूजीलैंड और आस्ट्रेलिया) में से एक ने शाह के नाम का प्रस्ताव रखा और अनुमोदन किया।
बीसीसीआई के संविधान के तहत पदाधिकारी लगातार 18 साल तक पद पर रह सकते हैं, जिनमें से नौ राष्ट्रीय बोर्ड और नौ प्रदेश ईकाई के साथ होंगे। लेकिन लगातार कोई व्यक्ति छह साल तक ही पद पर रह सकता है जिसके बाद तीन साल विश्राम लेना होगा। शाह लगातार दो बार आईसीसी चेयरमैन बन सकते हैं और इसके बाद बीसीसीआई में 2028 में आकर अध्यक्ष भी बन सकते हैं।
शाह के सामने फौरी तौर पर आईसीसी में चुनौती पाकिस्तान में चैम्पियंस ट्रॉफी का आयोजन है। शाह एशियाई क्रिकेट परिषद के चेयरमैन के तौर पर 2023 एशिया कप वनडे टूर्नामेंट में हाइब्रिड मॉडल के पुरजोर समर्थक थे जो पाकिस्तान और श्रीलंका की सह मेजबानी में हुआ। पाकिस्तान अपने मैच देश में और भारत के खिलाफ दुबई में खेलेगा।
ओलंपिक में क्रिकेट का प्रचार भी अहम चुनौती रहेगी क्योंकि लॉस एंजिलिस ओलंपिक 2028 में क्रिकेट का पदार्पण होगा। ऑस्ट्रेलिया के पूर्व मुख्य कोच जॉन बुकानन ने गुरुवार को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद (आईसीसी) से क्रिकेट के दीर्घकालिक भविष्य के लिए ‘अच्छे फैसले’ लेने का आग्रह किया जिसकी अगुआई जल्द ही भारतीय क्रिकेट बोर्ड (बीसीसीआई) के सचिव जय शाह करेंगे।
पैंतीस वर्षीय शाह एक दिसंबर को कार्यभार संभालने के बाद वैश्विक संचालन संस्था के सबसे युवा चेयरमैन बन जाएंगे। टेस्ट क्रिकेट में दो बार विश्व रिकॉर्ड लगातार 16 जीत और 2003 तथा 2007 में एकदिवसीय विश्व कप जीत के दौरान ऑस्ट्रेलियाई के कोच रहे बुकानन ने कहा कि आईसीसी को टी20 लीग की बढ़ती संख्या से जुड़ी चिंताओं का समाधान निकालने की जरूरत है।
बुकानन ने यहां एक कार्यक्रम के दौरान ‘पीटीआई’ से कहा, ‘‘अब जब जय शाह आईसीसी के प्रमुख बन गए हैं तो यह बेहद महत्वपूर्ण है कि आईसीसी खेल के लिए कुछ बहुत अच्छे दीर्घकालिक निर्णय ले।’’ उन्होंने कहा, ‘‘हम टी20 लीग, टी10 लीग, (द) हंड्रेड्स और इसी तरह की अन्य लीग का प्रसार देख रहे हैं... वास्तविकता यह है कि यही खेल का भविष्य है।