'उन्होंने टीम बस पर गोलियां बरसाईं, ग्रेनेड फेंके': कुमार संगकारा ने बताया 2009 के आतंकी हमले में श्रीलंकाई टीम कैसे बाल-बाल बची थी

Kumar Sangakkara: पूर्व श्रीलंकाई कप्तान कुमार संगकारा ने 2009 में लाहौर में श्रीलंकाई टीम की बस पर हुए आतंकी हमले की घटना को याद करते हुए कहा कि वे लकी थे जो बच गए

By अभिषेक पाण्डेय | Published: June 05, 2020 2:34 PM

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ठळक मुद्देश्रीलंकाई क्रिकेट टीम की बस पर 2009 में लाहौर में हुआ थी आतंकी हमले की घटनाइस हमले में श्रीलंकाई टीम बाल-बाल बच गई थी, बाद में दौरा रद्द कर दिया गया था

2009 में श्रीलंकाई क्रिकेट टीम के बस पर लाहौर में हुए आतंकी हमले की घटना क्रिकेट इतिहास की सबसे डरावनी घटनाओं में से एक है। श्रीलंकाई टीम पाकिस्तान के दौरे पर थी और पाकिस्तान के साथ दूसरे टेस्ट के तीसरे दिन का शुरू करने के लिए बस से लाहौर के गद्दाफी स्टेडियम जा रही थी, तभी आतंकियों ने उस बस पर हमला कर दिया था। 

उस समय श्रीलंकाई टीम का हिस्सा रहे पूर्व विकेटकीपर बल्लेबाज कुमार संगकारा ने श्रीलंका की टीम बस पर हुए आतंकी हमले की घटना को याद किया है। 

उस घटना को एक बार फिर से याद करते हुए संगकारा ने कहा कि उनकी टीम का बस ड्राइवर वास्तव में हीरो था, जो उन्हें बचाकर बस को उस जगह से सुरक्षित निकाल ले जाने कामयाब रहा था।

बस में कर रहे थे हंसी-मजाक, तभी आतंकियों ने बरसानी शुरू कर दी थी गोलियां

संगकारा ने स्काई स्पोटर्स से कहा, 'हम बस में हंसी-मजाक कर रहे थे, लोग पूछ रहे थे कि आज शाम को तुम क्या कर रहो हो। हमारे एक तेज गेंदबाज ने कहा कि 'यहां विकेट बहुत सपाट हैं', ऐसे में मुझे स्ट्रेस फ्रैक्चर होने वाला है। काश एक बम फट जाए और हम घर जा सकें। और 20 सेकेंड बाद ये होता है।' 

संगा ने कहा, 'उस समय हमारी टीम का मसाज करने वाला सामने था, हमने गोलियों की आवाज सुनी, हमने सोचा कि वे पटाखे थे। वह उठा और कहा 'नीचे बैठो, वे बस पर गोलिया चला रहे हैं। दिलशान भी सामने थे, मैं बीच में बैठा था। माहेला ठीक पीछे था, मुरली मेरे ठीक पीछे बैठे थे ताकि वह थिलन समरवीरा को चिढ़ा सकें। मुझे याद है, सलामी बल्लेबाज थरंगा परनवितान सामने थे।'

पूर्व कप्तान ने कहा, 'उन्होंने कई बार बस की तरफ फायरिंग की, ग्रेनेड फेंके और एक रॉकेट लॉन्चर का भी इस्तेमाल किया। मुझे नहीं पता, हम उस दिन कैसे बच गए। इस हमले में थिलन को चोट लगी थी जबकि मुझे कंधे पर कई छर्रे लगे थे। परनविताना ये चिल्लाया हुए बेहोश हो गया कि उसे गोली लगी है और उसकी छाती से खून बह रहा था। हम उस समय पूरे बस से 'ऊह' और 'आह' की आवाजें साफ सुन रहे थे।'

संगकारा ने कहा, 'हमला करने वालों ने ड्राइवर को मारने की काफी कोशिश की लेकिन वो बच गया। वह हीरो था, जो हमें वहां से बचाकर बस को निकाल ले गया।'

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