Highlightsयशस्वी जायसवाल के बचपन के कोच ज्वाला सिंह ने किया साफयशस्वी द्वारा मुंबई में पानी-पूरी बेचने की कहानियों को बताया फेककहा- यशस्वी जायसवाल केवल कुछ दुकानदारों की मदद करते थे
मुंबई: भारतीय क्रिकेट टीम के सलामी बल्लेबाज और युवा सनसनी यशस्वी जायसवाल के बारे में कई मीडिया रिपोर्ट्स में दावा किया जा चुका है कि वह अपने संघर्ष के दिनों में मुंबई में पानी-पूरी बेचा करते थे। लेकिन अब यशस्वी जEयसवाल के बचपन के कोच ज्वाला सिंह ने क्रिकेटर द्वारा अपने शुरुआती क्रिकेट के दिनों में पानी-पूरी बेचने की खबरों पर चौंकाने वाला खुलासा किया है।
यशस्वी जयसवाल के बचपन के कोच ज्वाला सिंह ने कहा है कि यशस्वी द्वारा सड़कों पर पानी-पूरी बेचने की वायरल खबरों को देख कर उन्हें निराशा होती है। ज्वाला सिंह एक खेल पोर्टल से जायसवाल की क्रिकेट यात्रा, वित्तीय बोझ के कारण उनके द्वारा किए गए संघर्ष और सोशल मीडिया पर वायरल तस्वीरों के पीछे की सच्चाई के बारे में बात कर रहे थे।
यशस्वी जयसवाल द्वारा मुंबई की सड़कों पर पानी-पूरी बेचने की कहानी ने सोशल मीडिया पर खूब सुर्खियां बटोरी हैं। 'क्रिक क्रैक' पर ईशान शर्मा के साथ एक इंटरव्यू में ज्वाला सिंह ने कहा कि यशस्वी जयसवाल 2013 में आज़ाद मैदान के तंबू में रहने के दौरान मुझसे मिले थे और उनके पास बहुत अधिक वित्तीय सहायता नहीं थी। उन्होंने बताया कि मुंबई के आजाद मैदान मैदान में, पानी-पूरी की ट्रॉलियां आती थीं और जयसवाल दोस्ताना तरीके से उनकी मदद करने जाते थे। यशस्वी उनके साथ बात करते थे और कभी-कभी 20-25 रुपये कमाने के लिए कुछ पानी-पूरी बेच देते थे।
यशस्वी के बचपन के कोच ने बताया कि सोशल मीडिया में कई बार एक फोटो और वीडियो वायरल हुआ जिसमें जायसवाल एक पानी-पूरी वाले के बगल में खड़े हैं। दावा किया गया कि जिसके बगल में यशस्वी खड़े हैं वह उनके पिता हैं। ज्वाला सिंह ने कहा कि वह तस्वीर फेक थी। ज्वाला सिंह ने आगे बताया कि उनका परिवार जायसवाल को अपने 'अपने बच्चे' की तरह मानता था, सभी सुविधाएं प्रदान करता था, लेकिन प्रसारित की जा रही फर्जी कहानियों से आहत था।