विभिन्न खाद्य तेलों के 4,461 नमूनों में से 2.42 प्रतिशत घटिया पाए गए: एफएसएसएआई
By भाषा | Updated: December 29, 2021 19:46 IST2021-12-29T19:46:49+5:302021-12-29T19:46:49+5:30

विभिन्न खाद्य तेलों के 4,461 नमूनों में से 2.42 प्रतिशत घटिया पाए गए: एफएसएसएआई
नयी दिल्ली, 29 दिसंबर देश के 587 जिलों और चार महानगरों के विभिन्न खाद्य तेलों के 4,461 नमूनों में से लगभग 2.42 प्रतिशत सुरक्षा मानकों के अनुरूप नहीं पाए गए। खाद्य सुरक्षा नियामक एफएसएसएआई ने बुधवार को यह जानकारी दी।
भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) ने 25-27 अगस्त, 2020 के दौरान किए गए एक राष्ट्रव्यापी सर्वेक्षण के निष्कर्षों को जारी करते हुए, कहा कि राज्यों को तेलों में मिलावट को रोकने के लिए प्रवर्तन अभियान तेज करने के लिए कहा गया है।
इसमें कहा गया है कि कृषि और खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्रालयों से अनुरोध किया जा रहा है कि वे अच्छी कृषि पद्धतियों और/या सुरक्षित संचालन या प्रसंस्करण तकनीकों के कार्यान्वयन के माध्यम से दूषित पदार्थों की समस्या को खत्म करने के अपने प्रयासों को एकीकृत करें।
नियामक ने एक बयान में कहा, ‘‘इस सर्वेक्षण के परिणामों ने पता चलता है कि 4,461 नमूनों में से 2.42 प्रतिशत (108) नमूने सुरक्षा मानकों का अनुपालन नहीं करते। इनमें एफ्लाटॉक्सिन, कीटनाशक अवशेष और भारी धातुओं की उपस्थिति एफएसएसआर द्वारा निर्धारित स्तर से अधिक थी।
एफएसएसएआई ने कहा कि गुणवत्ता श्रेणी में, लगभग 24.2 प्रतिशत (1,080) नमूने मानदंडों का अनुपालन नहीं करते थे।
इसने कहा, ‘‘गुणवत्ता मानकों का पालन न करना, खाद्य तेलों में संभावित मिलावट या अन्य तेलों या सामग्रियों के साथ सम्मिश्रण किये जाने का संकेत देता है।’’
इसमें कहा गया है कि गुणवत्ता के संबंध में, मानकों का अनुपालन नहीं करने का एक और मामला यह देखा गया कि कुछेक नमूने शेल्फ-लाइफ मानकों और एडिटिव्स के निर्धारित मानकों पर खरा उतरने में विफल थे।
लेबल मिसब्रांडिंग श्रेणी में, एफएसएसएआई ने कहा कि लगभग 572 (12.8 प्रतिशत) नमूने विटामिन ए और विटामिन डी की उपस्थिति जैसे पोषक तत्वों से संवर्धित होने के दावों का अनुपालन नहीं कर रहे थे।
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