शशांक द्विवेदी का ब्लॉग: कोरोना- साइबर हमले का खतरा

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: March 28, 2020 04:39 PM2020-03-28T16:39:27+5:302020-03-28T16:39:27+5:30

सरकारी संस्थानों, अस्पतालों से लेकर कंपनियों तक के डॉटा लीक के मामले सामने आए हैं. भारत में ही पिछले तीन महीने में 10,000 से ज्यादा साइबर हमले किए जा चुके हैं. महाराष्ट्र साइबर सेल के मुताबिक लोगों के मोबाइल और ई-मेल पर कोरोना वायरस से बचने के उपायों वाला एक लिंक भेज कर उन्हें शिकार बनाया रहा है.

Shashank Dwivedi's blog: Corona - Cyber ​​attack threat | शशांक द्विवेदी का ब्लॉग: कोरोना- साइबर हमले का खतरा

लोकमत फाइल फोटो

Highlightsभारत में ही पिछले तीन महीने के दौरान 10,000 स्पैम अटैक किए गए. कोरोना वायरस के नाम पर न केवल लोगों के व्यक्तिगत डाटा बल्कि बैंक अकाउंट तक को साफ किया जा रहा है.

दुनिया भर में कोरोना वायरस के बढ़ते प्रसार से भारत सहित अधिकांश देश लॉकडाउन में हैं, ऐसे में अधिकांश निजी कंपनियां अपने एम्प्लाइज से ‘वर्क फ्रॉम होम’ करा रही हैं जिसकी वजह से साइबर अटैक का खतरा बढ़ गया है. दुनियाभर में कोरोना संकट की आड़ में साइबर हमलों की कई घटनाएं सामने आई हैं. आम लोगों से साइबर ठगी के मामले बढ़े हैं.

सरकारी संस्थानों, अस्पतालों से लेकर कंपनियों तक के डॉटा लीक के मामले सामने आए हैं. भारत में ही पिछले तीन महीने में 10,000 से ज्यादा साइबर हमले किए जा चुके हैं. महाराष्ट्र साइबर सेल के मुताबिक लोगों के मोबाइल और ई-मेल पर कोरोना वायरस से बचने के उपायों वाला एक लिंक भेज कर उन्हें शिकार बनाया रहा है. इस लिंक पर क्लिक करते ही लोगों के बैंक खातों से जुड़ी जानकारी उन लोगों तक पहुंच रही है, जो इस साजिश के पीछे हैं.

कोरोना वायरस के नाम पर न केवल लोगों के व्यक्तिगत डाटा बल्कि बैंक अकाउंट तक को साफ किया जा रहा है. कोरोना वायरस से जुड़ी कोई जानकारी, सावधानियों से जुड़ा कोई भी मेल, मैसेज या वाट्सएप्प पर आने पर, उस पर महज एक क्लिक ही आपको ठगी का शिकार बना सकता है.

भारत में ही पिछले तीन महीने के दौरान 10,000 स्पैम अटैक किए गए. ऑस्ट्रेलिया में 6,000, तो इंडोनेशिया में 5,000 के करीब साइबर अटैक के प्रयास हुए. यही नहीं चेक रिपब्लिक में कोरोना टेस्टिंग की सबसे बड़ी लैब को निशाना बनाते हुए साइबर हमला किया गया है. ई-मेल हैकर्स विश्वास बनाए रखने के लिए किसी एनजीओ या विश्व स्वास्थ्य संगठन के नाम पर मेल भेजते हैं ताकि कोई शक न हो. इसके अलावा ऐसी भाषा का भी प्रयोग करते हैं कि लोग डर के या फिर उत्सुकता में मेल में दिए लिंक को क्लिक करें.

साइबर विशेषज्ञों के अनुसार कोरोना वायरस से जुड़ा कोई भी संदेश जब यूजर्स क्लिक करता है तो वायरस मोबाइल में डाउनलोड हो जाता है, जिसके जरिए मोबाइल की पूरी एक्सेस हैकर को मिल सकती है. इसके जरिए हैकर आपके अकाउंट में आसानी से सेंध लगा सकता है.

Web Title: Shashank Dwivedi's blog: Corona - Cyber ​​attack threat

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