ब्लॉग: छात्रों में वैज्ञानिक दृष्टिकोण को बढ़ावा देने की दिशा में कदम

By लोकमत समाचार ब्यूरो | Published: August 19, 2023 04:30 PM2023-08-19T16:30:07+5:302023-08-19T16:33:14+5:30

इस परियोजना की बदौलत छात्र किसी स्थानीय समस्या की पहचान और उसका अध्ययन करते हुए उसके पीछे के वैज्ञानिक कारण की जांच करने तथा उसका वैज्ञानिक समाधान खोजने जैसे कार्य कर सकेंगे.

Steps taken to promote scientific temper among students | ब्लॉग: छात्रों में वैज्ञानिक दृष्टिकोण को बढ़ावा देने की दिशा में कदम

फोटो क्रेडिट- फाइल फोटो

प्रमोशन ऑफ रिसर्च एटीट्यूड इन यंग एंड एस्पायरिंग स्टूडेंट (प्रयास) नामक जो योजना शिक्षा विभाग शुरू करने जा रहा है। वह निश्चित रूप से छात्रों को अनुसंधान का अवसर प्रदान करते हुए उनमें वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देगी।

राष्ट्रीय शिक्षा अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) ने प्रयास योजना 2023-24 के लिए एक दिशा-निर्देश तैयार किया है जिसकी शुरुआत 10 अक्तूबर 2023 से होगी।

इस योजना में भाग लेने के लिए सभी स्कूलों के छात्र पात्र होंगे, हालांकि प्रति विद्यालय केवल एक प्रविष्टि पर ही विचार किया जाएगा। प्रत्येक चयनित शोध प्रस्ताव के लिए कुल 50 हजार रुपए का प्रोत्साहन अनुदान किया जाएगा, जिसमें से 10 हजार रुपए छात्र को दिए जाएंगे।

दो छात्र होने पर 5-5 हजार रुपए दिए जाएंगे। साथ ही छात्रों को शोधकार्य करने में सुविधा प्रदान करने के लिए स्कूलों को 20 हजार रुपए और उच्च शिक्षण संस्थान के विशेषज्ञ को 20 हजार रुपए दिए जाएंगे। 10 अक्तूबर 2023 से शुरू होकर 9 अक्तूबर 2024 तक चलने वाली इस योजना से पूरी उम्मीद है कि देश के विविध क्षेत्रों के मेधावी छात्रों की प्रतिभा सामने आएगी और छात्रों के बीच एक सृजनात्मक वातावरण तैयार होने में मदद मिलेगी।

इस परियोजना की बदौलत छात्र किसी स्थानीय समस्या की पहचान और उसका अध्ययन करते हुए उसके पीछे के वैज्ञानिक कारण की जांच करने तथा उसका वैज्ञानिक समाधान खोजने जैसे कार्य कर सकेंगे।  देश में होनहारों की कमी नहीं है और पूरी दुनिया में इन दिनों भारतवंशी जिस तरह से अपनी प्रतिभा का डंका बजा रहे हैं, यह इसका प्रमाण है।

दूर-दराज के क्षेत्रों में रहने वाले छात्र भी अपनी तीक्ष्ण बुद्धि के बल पर देसी तकनीक का इस्तेमाल करके ऐसे-ऐसे आविष्कार करते हैं कि दंग रह जाना पड़ता है।

इसलिए सरकार की ओर से मदद मिलने के बाद देश में वैज्ञानिक दृष्टिकोण का विकास होगा और हमारे छात्र भविष्य में चंद्रशेखर वेंकट रमन, डॉक्टर होमी जहांगीर भाभा, जगदीश चंद्र बसु, मेघनाद साहा, एम. एन. रामानुजम, डॉक्टर एपीजे अब्दुल कलाम जैसे मेधावी वैज्ञानिक बनेंगे, इसमें संशय नहीं है।

Web Title: Steps taken to promote scientific temper among students

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