वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन ने ऑटोमोबाइल सेक्टर की गिरावट के लिए लोगों की पसंद में बदलाव और बीएस-6 मॉडल को जिम्मेदार ठहराया है.
उन्होंने कहा कि ऑटोमोबाइल सेक्टर की हालत के लिए कई फैक्टर जिम्मेदार हैं जिनमें बीएस-6 मूवमेंट, रजिस्ट्रेशन फी से संबंधित मामले आदि शामिल हैं. सीतारमन ने कहा कि आजकल लोग गाड़ी खरीदकर ईएमआई भरने से ज्यादा मेट्रो में सफर या ओला-उबर का इस्तेमाल करना पसंद कर रहे हैं.
हालांकि उन्होंने स्वीकार किया कि इस सेक्टर में गिरावट एक गंभीर समस्या है और इसका हल निकालना चाहिए.
वित्त मंत्री नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल के 100 दिन पूरे होने पर पत्रकारों से बात कर रही थीं.
उन्होंने कहा कि सरकार सभी सेक्टर्स की समस्याओं के लेकर गंभीर है और आवश्यक कदम उठाए जाएंगे. उन्होंने कहा, ''यह सरकार सबकी सुनती है. अगस्त और सितंबर में दो बड़ी घोषणाएं की गईं. जरूरत पड़ने पर और भी घोषणाएं की जा सकती हैं.''
मारुति के चेयरमैन आर. सी. भार्गव ने ओला और उबर की वजह से कारों की बिक्री पर प्रभाव पड़ने से इनकार किया है. उन्होंने इसके लिए सरकार की नीतियों को जिम्मेदार ठहराया है.
भार्गव के मुताबिक, पेट्रोल-डीजल की ऊंची टैक्स दर, रोड टैक्स, बीमा की ज्यादा लागत की वजह से भी लोग कार खरीदने से पीछे हटने लगे हैं.
उन्होंने यह भी कहा कि जीएसटी दर की कटौती से इस सेक्टर पर कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है. वैसे, ऑटो इंडस्ट्री इस सुस्ती से निपटने के लिए जीएसटी में कटौती की मांग कर रही है.
रक्षा फीचर्स जोड़ने की वजह से दाम बढ़े :
मारुति के चेयरमैन भार्गव ने कहा कि कारों में एयरबैग्स और एबीएस जैसे सुरक्षा फीचर्स जोड़ने की वजह से दाम बढ़ गए हैं. दाम बढ़ने से ये दुपहिया वाहन चलाने वालों की पहुंच से दूर हो गई हैं.