Narges Mohammadi Nobel Peace Prize 2023: जानें कौन हैं नरगिस मोहम्मदी, ईरानी शासन ने 13 बार गिरफ्तार किया, पांच बार दोषी ठहराया और 31 साल जेल रखा...

By सतीश कुमार सिंह | Published: October 6, 2023 04:05 PM2023-10-06T16:05:53+5:302023-10-06T16:07:11+5:30

Narges Mohammadi Nobel Peace Prize 2023: ईरान में महिलाओं के उत्पीड़न के खिलाफ संघर्ष करने के लिए जेल में बंद कार्यकर्ता नरगिस मोहम्मदी को नोबेल शांति पुरस्कार दिया जाएगा। नॉर्वे नोबेल समिति के अध्यक्ष बेरिट रीस-एंडरसन ने शुक्रवार को ओस्लो में पुरस्कार की घोषणा की।

Who is Narges Mohammadi, winner of Nobel Peace Prize 2023 arrested her 13 times convicted five times sentenced 31 years in prison 154 lashes | Narges Mohammadi Nobel Peace Prize 2023: जानें कौन हैं नरगिस मोहम्मदी, ईरानी शासन ने 13 बार गिरफ्तार किया, पांच बार दोषी ठहराया और 31 साल जेल रखा...

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Highlightsमानवाधिकारों और स्वतंत्रता को बढ़ावा देने की उनकी लड़ाई के लिए प्रदान किया जाएगा। मोहम्मदी के बहादुरी भरे संघर्ष की भारी व्यक्तिगत कीमत चुकानी पड़ी है। कुल 31 साल जेल और 154 कोड़े की सजा सुनाई।

Narges Mohammadi Nobel Peace Prize 2023: प्रतिष्ठित नोबेल शांति पुरस्कार 2023 जेल में बंद ईरानी कार्यकर्ता नरगिस मोहम्मदी को ईरान में महिलाओं के उत्पीड़न के खिलाफ लड़ाई और सभी के लिए मानवाधिकारों और स्वतंत्रता को बढ़ावा देने की उनकी लड़ाई के लिए प्रदान किया जाएगा। 

 नोबेल समिति ने कहा कि मोहम्मदी के बहादुरी भरे संघर्ष की भारी व्यक्तिगत कीमत चुकानी पड़ी है। ईरानी शासन ने उसे 13 बार गिरफ्तार किया, पांच बार दोषी ठहराया और कुल 31 साल जेल और 154 कोड़े की सजा सुनाई। अभी भी जेल में हैं। जंजन में जन्मी मोहम्मदी ने इमाम खुमैनी अंतरराष्ट्रीय विश्वविद्यालय में दाखिला लिया, जहाँ उन्होंने भौतिकी में डिग्री प्राप्त की।

अपने कॉलेज के वर्षों के दौरान खुद को समानता और महिलाओं के अधिकारों के लिए एक वकील के रूप में प्रतिष्ठित किया। विभिन्न सुधारवादी समाचार पत्रों के लिए कॉलम भी लिखे। 2003 में वह नोबेल शांति पुरस्कार विजेता शिरीन एबादी द्वारा स्थापित संगठन तेहरान में डिफेंडर्स ऑफ ह्यूमन राइट्स सेंटर से जुड़ गईं।

2011 में सुश्री मोहम्मदी को पहली बार गिरफ्तार किया गया था और जेल में बंद कार्यकर्ताओं और उनके परिवारों की सहायता करने के उनके प्रयासों के लिए कई वर्षों के कारावास की सजा सुनाई गई थी। 2015 में फिर से गिरफ्तार कर लिया गया और अतिरिक्त वर्षों के लिए जेल में डाल दिया गया।

रीस-एंडरसन ने कहा, ‘‘ सबसे पहले यह पुरस्कार ईरान में पूरे आंदोलन के लिए बहुत अहम कार्य और उसकी निर्विवाद नेता नरगिस मोहम्मदी को मान्यता देने के लिए है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ पुरस्कार के प्रभाव पर निर्णय करना नोबेल समिति का काम नहीं है। हम आशा करते हैं कि यह, इस आंदोलन को चाहे जिस भी रूप में हो, जारी रखने के लिए प्रोत्साहन मिलेगा।’’

मोहम्मदी ने 2019 में हुए हिंसक प्रदर्शन के पीड़ितों के स्मारक पर आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लिया था जिसके बाद अधिकारियों ने उन्हें गत नवंबर में गिरफ्तार कर लिया था। रीस-एंडरसन ने बताया कि मोहम्मदी 13 बार जेल गईं और उन्हें पांच बार दोषी करार दिया गया, उन्हें कुल 31 साल कारावास की सजा सुनाई गई है।

मोहम्मदी 19वीं महिला हैं जिन्हें नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया है जबकि यह उपलब्धि हासिल करने वाली वह दूसरी ईरानी महिला हैं। मोहम्मदी से पहले 2003 में शिरिन इबादी को शांति के नोबेल पुस्कार से सम्मानित किया गया था। मोहम्मदी हाल ही में 22 वर्षीय महसा अमीनी की मौत पर देशव्यापी विरोध प्रदर्शन के लिए जेल में थीं।

अमीनी की देश की नैतिकता पुलिस द्वारा हिरासत में लिए जाने के बाद मृत्यु हो गई थी। उनकी मौत ने 1979 की इस्लामी क्रांति के बाद ईरान में स्थापित धर्म आधारित शासन के समक्ष सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक चुनौती पेश की। अमीनी की मौत के बाद देश भर में शुरू हुए आंदोलन में 500 से अधिक लोग सुरक्षा बलों की कार्रवाई में मारे गए जबकि करीब 22 हजार लोगों को गिरफ्तार किया गया।

हालांकि, कारागार में रहने के बावजूद मोहम्मदी ने ‘द न्यूयॉर्क टाइम्स के लेख में योगदान दिया। उन्होंने लिखा, ‘‘ सरकार जो संभवत: समझ नहीं पा रही है, वह यह है कि जितना हम लोगों पर बंदिश लगाई जाएगी उतने ही हम मजबूत होंगे।’’ मोहम्मदी को नोबेल पुरस्कार से सम्मानित करने की घोषणा पर ईरान के सरकारी टेलीविजन और सरकार नियंत्रित मीडिया ने तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।

कुछ अर्द्ध-आधिकारिक समाचार एजेंसियों ने ऑनलाइन संदेश में विदेशी मीडिया की खबरों के हवाले से, मोहम्मदी को नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित करने की घोषणा का पता चलने की बात स्वीकार की है। कारागार में डालने से पहले मोहम्मदी ईरान में प्रतिबंधित ‘डिफेंडर ऑफ ह्यूमन राइट्स सेंटर’ की उपाध्यक्ष थीं। वह संस्था के संस्थापक इबादी की करीबी हैं।

पेशे से इंजीनियर मोहम्मदी को 2018 में एंद्रेई साखारोव पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। नोबेल पुरस्कार में 1.1 करोड़ स्वीडिश क्रोनर (लगभग 10 लाख अमेरिकी डॉलर) का नकद पुरस्कार दिया जाता है। दिसंबर में पुरस्कार समारोह में विजेताओं को 18 कैरेट का स्वर्ण पदक और डिप्लोमा भी प्रदान किया जाता है।

प्रतिष्ठित नोबेल शांति पुस्कार के विजेता का चुनाव नार्वे की विशेषज्ञ समिति ने 350 नामांकितों में से किया। पिछले साल का पुरस्कार यूक्रेन, बेलारूस और रूस के मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने जीता था, जिसे रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और उनके बेलारूसी समकक्ष और सहयोगियों के लिए कड़े संदेश के रूप में देखा गया था।

नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित लोगों में दक्षिण अफ्रीका के रंगभेदी विरोधी नेता नेल्सन मंडेला, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा, रूस के पूर्व राष्ट्रपति मिखाइल गोर्बाचेव और म्यांमा की लोकतंत्र समर्थक नेता आन सू ची शामिल हैं।

स्टॉकहोम में चुने और घोषित किए जाने वाले अन्य नोबेल पुरस्कारों के विपरीत, पुरस्कार के संस्थापक अल्फ्रेड नोबेल ने वसीयत की है कि शांति पुरस्कार का निर्णय ओस्लो में पांच सदस्यीय नॉर्वे की नोबेल समिति करेगी जिसका गठन नार्वे की संसद द्वारा किया जाता है।

Web Title: Who is Narges Mohammadi, winner of Nobel Peace Prize 2023 arrested her 13 times convicted five times sentenced 31 years in prison 154 lashes

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