WATCH Karachi Airport Blast: चीन के 2 श्रमिकों की मौत और 8 घायल, पाकिस्तान के कराची हवाई अड्डे के बाहर विस्फोट, देखें वीडियो
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Updated: October 7, 2024 14:14 IST2024-10-07T10:26:05+5:302024-10-07T14:14:07+5:30
Karachi Airport Blast: ‘पोर्ट कासिम इलेक्ट्रिक पावर (प्राइवेट) लिमिटेड कंपनी’ के चीनी कर्मचारियों को ले जा रहे काफिले पर देर रात करीब 11 बजे हमला हुआ, जिसमें दो चीनी नागरिक मारे गए और एक अन्य घायल हो गया।

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Karachi Airport Blast:पाकिस्तान में कराची हवाई अड्डे के बाहर चीनी नागरिकों के काफिले को निशाना बनाकर रविवार को किए गए बम विस्फोट की जिम्मेदारी एक पाकिस्तानी अलगाववादी संगठन ने ली है। अधिकारियों और अलगाववादी समूह ने यह जानकारी दी। इस हमले में चीन के दो कर्मचारियों की मौत हो गई और कम से कम आठ अन्य लोग घायल हो गए। दक्षिणी बंदरगाह शहर कराची में हवाई अड्डे के बाहर यह हमला ‘बलोच लिबरेशन आर्मी’ ने किया। यह हमला ऐसे समय में हुआ है जब पाकिस्तान को एक सप्ताह बाद शंघाई सहयोग संगठन के शिखर सम्मेलन की मेजबानी करनी है।
शंघाई सहयोग संगठन एक सुरक्षा समूह है जिसकी स्थापना चीन और रूस ने पश्चिमी गठबंधनों का मुकाबला करने के लिए की थी। शुरुआत में पाकिस्तानी प्राधिकारियों ने विरोधाभासी जानकारियां दी थीं तथा संकेत दिया था कि विस्फोट संभवतः किसी तेल टैंकर में हुआ, लेकिन बाद में पुलिस ने पुष्टि की कि यह एक बम हमला था।
WATCH | Pakistan: An explosion has been reported near Jinnah International Airport in Karachi; 2 Chinese nationals dead and 10 others injured.#Pakistan#Karachi#JinnahInternationalAirport#Video#ViralVideopic.twitter.com/xWMRYP3nyh
— TIMES NOW (@TimesNow) October 7, 2024
पाकिस्तान समाचार चैनलों पर प्रसारित हमले के वीडियो में कारों से आग की लपटें और घटनास्थल से धुएं का गुबार उठता दिखाई दे रहा है। सैन्य बलों और पुलिस ने घटनास्थल को चारों ओर से घेर लिया गया है। आतंकवाद-रोधी अधिकारी इस बात की जांच कर रहे हैं कि हमलावर पाकिस्तान के सबसे बड़े शहर कराची में कैसे पहुंचे।
घायलों में वे पुलिस अधिकारी भी शामिल हैं जो हमले के समय चीनी काफिले की सुरक्षा कर रहे थे। अलगाववादी समूह के प्रवक्ता जुनैद बलोच ने सोमवार को कहा कि संगठन के एक आत्मघाती हमलावर ने चीनी इंजीनियरों और निवेशकों के काफिले को उस समय निशाना बनाया, जब वे हवाई अड्डे से बाहर निकल रहे थे।
‘बलोच लिबरेशन आर्मी’ मुख्य रूप से अशांत दक्षिण-पश्चिमी बलूचिस्तान प्रांत में स्थित है, लेकिन इसने हाल के वर्षों में पाकिस्तान के अन्य हिस्सों में भी विदेशियों और सुरक्षा बलों पर हमले किए हैं। इस्लामाबाद में चीनी दूतावास ने एक बयान जारी कर बताया कि ‘पोर्ट कासिम इलेक्ट्रिक पावर (प्राइवेट) लिमिटेड कंपनी’ के चीनी कर्मचारियों को ले जा रहे काफिले पर देर रात करीब 11 बजे हमला हुआ, जिसमें दो चीनी नागरिक मारे गए और एक अन्य घायल हो गया। उसने बताया कि इस हमले में पाकिस्तानी नागरिक भी घायल हुए हैं।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय ने बम विस्फोट की निंदा करते हुए कहा कि यह ‘‘कराची हवाई अड्डे के पास किया गया एक जघन्य आतंकवादी हमला’’ था। उसने बताया कि इस हमले में एक चीनी नागरिक घायल भी हुआ है। मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘‘हम चीनी और पाकिस्तानी पीड़ितों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदना और सहानुभूति व्यक्त करते हैं और घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की प्रार्थना करते हैं।’’
उसने कहा, ‘‘हम इस कायरतापूर्ण हमले के लिए जिम्मेदार लोगों को न्याय के कटघरे में लाने के लिए दृढ़ संकल्पित हैं।’’ पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने कहा कि वह इस हमले से स्तब्ध और दुखी हैं। उन्होंने कहा कि हमलावर ‘‘पाकिस्तान के दुश्मन’’ हैं। उन्होंने अपराधियों को दंडित किए जाने का वादा किया।
शरीफ ने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘मैं इस जघन्य कृत्य की कड़ी निंदा करता हूं और चीनी नेतृत्व एवं चीन के लोगों, खासकर पीड़ितों के परिवारों के प्रति हार्दिक संवेदना व्यक्त करता हूं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘पाकिस्तान अपने चीनी मित्रों की सुरक्षा के लिए प्रतिबद्ध है। हम उनकी सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित करने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।’’
पाकिस्तान में हजारों चीनी कर्मचारी हैं, जिनमें से अधिकतर कर्मचारी चीन की अरबों डॉलर की उस ‘बेल्ट एंड रोड’ पहल के लिए काम कर रहे हैं जो दक्षिण और मध्य एशिया को चीनी राजधानी से जोड़ने के लिए शुरू की गई है। यह प्रतिबंधित अलगाववादी समूह बलूचिस्तान की आजादी के लिए लंबे समय से विद्रोह कर रहा है।
उसने बलूचिस्तान में चीनी नागरिकों के काम करने के खिलाफ कई बार चेतावनी दी है। इससे पहले, अगस्त में बलूचिस्तान में घातक हमलों में 50 से अधिक लोग मारे गए थे। उस समय शरीफ ने कहा था कि हमलावरों का उद्देश्य चीन द्वारा वित्तपोषित विकास परियोजनाओं को नुकसान पहुंचाना था।