'अडानी ने हाइफा बंदरगाह के अधिग्रहण के लिए पूरे 1.2 अरब डॉलर का भुगतान किया', बोले भारत में इजरायल के राजदूत नौर गिलोन
By शिवेंद्र राय | Published: February 22, 2023 06:52 PM2023-02-22T18:52:29+5:302023-02-22T19:06:13+5:30
इजरायल और भारत के बीच राजनयिक संबंधों के 30 साल पूरे होने के अवसर पर भारत में इजरायल के राजदूत नौर गिलोन ने अडानी के निवेश को मह्तवपूर्ण बताया और अडानी समूह द्वारा इजरायल के अन्य क्षेत्रों में भी अधिक निवेश की उम्मीद जताई।
नई दिल्ली: विवादों में घिरे भारतीय कारोबारी गौतम अडानी के बारे में भारत में इजरायल के राजदूत नौर गिलोन ने कहा है कि हाइफा बंदरगाह का अधिग्रहण करने के लिए संकटग्रस्त अडानी समूह ने पूरा भुगतान किया है।
इजरायल और भारत के बीच राजनयिक संबंधों के 30 साल पूरे होने के अवसर पर भारत में इजरायल के राजदूत नौर गिलोन ने अडानी के निवेश को मह्तवपूर्ण बताया और अडानी समूह द्वारा इजरायल के अन्य क्षेत्रों में भी अधिक निवेश की उम्मीद जताई।
पिछले महीने अडानी समूह ने 1.2 बिलियन डॉलर में हाइफा के रणनीतिक इजरायली बंदरगाह का अधिग्रहण किया था। इसके अलावा अडानी समूह ने तेल अवीव में एक आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस लैब खोलने और इजरायल में और अधिक निवेश करने की प्रतिबद्धता जताई थी।
अब इजरायल के राजदूत ने कहा है, "भूमध्यसागर में हमारे दो बंदरगाह हैं। हाइफा बंदरगाह एक रणनीतिक संपत्ति है। तथ्य यह है कि हम इसे एक भारतीय कंपनी को दे रहे हैं। हमारे दृष्टिकोण से, अपनी रणनीतिक संपत्ति को भारत के हाथों में देना दोनों देशों का एक दूसरे पर गहरे भरोसे का प्रतीकात्मक संकेत है।"
भारत में इजरायल के राजदूत ने आगे कहा, "सिर्फ अडानी ही नहीं बल्कि देश के और भी कई बड़े व्यापारिक समूह और कंपनियां इजरायल में अपने व्यवसाय को दोनों देशों के बीच बेहतर माहौल और साझेदारी को आगे बढ़ा रहे हैं। इजरायल में टाटा समेत करीब 80 से ज्यादा कंपनियों और व्यापारिक उद्यमियों की भागीदारी बनी हुई है। दोनों देश मुक्त व्यापार समझौते पर बातचीत कर रहे हैं। वह कहते हैं कि इस तरह के व्यापारिक समझौते से दोनों देशों को न सिर्फ फायदा होगा, बल्कि व्यापारिक निवेश को बढ़ावा भी मिलेगा।"
इस मौके पर अडानी समूह के प्रमुख गौतम अडानी ने कहा, "हाइफा बंदरगाह का अधिग्रहण रियल स्टेट के विकास के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है। मैं आपसे वादा करता हूं कि आने वाले वर्षों में हम आस पास के क्षेत्र को भी बदल देंगे।"
अडानी ने कहा कि भारत-इजरायल की दोस्ती तब से है जब 23 सितंबर, 1918 को मैसूर, हैदराबाद और जोधपुर के भारतीय शहरों के सैनिकों ने हाइफा की आजादी के लिए इजरायल में लड़ाई लड़ी थी।