फिलीपींस: 250 यात्रियों को ले जा रही फेरी में लगी भीषण आग, 12 लोगों की हुई मौत- 23 घायल, अधिकारियों ने कही ये बात
By आजाद खान | Published: March 30, 2023 11:14 AM2023-03-30T11:14:58+5:302023-03-30T11:55:13+5:30
हादसे पर बोलते हुए बेसिलन के दक्षिणी द्वीप प्रांत के गवर्नर जिम हैटामन ने कहा है कि जब फेरी पर आग लगी थी तो कई लोग आग के डर से पानी में कूद गए थे। ऐसे में तट रक्षक, नौसेना, एक अन्य नौका और स्थानीय मछुआरों द्वारा इन लोगों को बचाया गया था।
मनीला: दक्षिण-पूर्वी एशियाई देश फिलीपींस (Philippines) में एक बड़ा हादसा हो गया है जहां 250 लोग को ले जा रही एक फेरी में आग लगने से 12 लोगों की मौत हो गई है। इस हादसे को पर बोलते हुए बेसिलन के दक्षिणी द्वीप प्रांत के गवर्नर जिम हैटामन ने कहा है कि जब यह घटना घटी थी तो लोग आग के डर से पानी में कूद गए थे जिन्हें फिर तट रक्षक, नौसेना, एक अन्य नौका और स्थानीय मछुआरों द्वारा बचाया गया था।
बताया जा रहा है कि हादसे में सात लोग अभी भी लापता है और उनकी तलाश जारी है। फिलीपीन कोस्ट गार्ड्स (PCG) के अनुसार, इस फेरी में भारी संख्या में लोग सवार थे और घटना के वक्त ये फेरी दक्षिणी फिलीपींस के समुद्र से गुजर रही थी। गवर्नर जिम हैटामन ने बताया कि इस हादसे में तीन बच्चों की भी मौत हुए है जो अपने माता पिता से बिछड़ गए थे।
गुरुवार को भी तलाशी और बचाव कार्य जारी
गवर्नर जिम हैटामन के मुताबिक, हादसे के बाद एमवी लेडी मैरी जॉय 3 फेरी पर सवार अधिकतर यात्रियों को रात में ही बचा लिया गया था। लेकिन इसके बाद भी अधिकारी दोबारा जांच कर रहे थे यह जानने के लिए कोई और इस हादसे का शिकार हुआ है कि नहीं हुआ है।
उनके अनुसार जब फेरी दक्षिणी बंदरगाह शहर जाम्बोआंगा से सुलु प्रांत के जोलो शहर जा रही थी तब करीब आधी रात को उसमें आग लगी थी। यही नहीं इसमें 23 यात्रियों के भी घायल होने की बात सामने आई है। द एसोसिएटेड प्रेस को दी जानकारी में गवर्नर ने कहा है कि घटना के वक्त कुछ लोग फेरी में सोए हुए थे जो हंगामे के कारण जग गए थे। यही नहीं इन लोगों में से कुछ ने फेरी से ही पानी में छलांग लगा दी थी।
कई कारोणों की वजह से फिलीपीन में इस तरीके की घटनाएं आम हैं
हाटामैन ने बताया कि जली हुई नौका को बसिलन के तटरेखा तक ले जाया गया है। मामले की जांच की जा रही है। फिलीपीन द्वीपसमूह में लगातार तूफान, खराब हालत वाली नौकाओं, नौकाओं के क्षमता से अधिक भरे होने और सुरक्षा नियमों के लागू करने में ढिलाई के कारण खासकर दूरदराज के प्रांतों में समुद्री दुर्घटनाएं आम हैं। गौरतलब है कि दिसंबर 1987 में नौका ‘डोना पाज़’ एक ईंधन टैंकर से टकराने के बाद डूब गई थी जिसमें 4,300 से अधिक लोग मारे गए थे।
भाषा इनपुट के साथ