देश के साथ कांग्रेस भी राम मय, मनीष तिवारी ने कहा-रघुपति राघव राजा राम...
By शीलेष शर्मा | Published: August 5, 2020 09:19 PM2020-08-05T21:19:25+5:302020-08-05T21:20:32+5:30
राहुल गाँधी ने ट्वीट के जरिये राम के प्रति आस्था दिखते हुये सरकार को आइना भी दिखा दिया कि राम का अर्थ क्या है ,उन्होंने लिखा "मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम सर्वोत्तम मानवीय गुणों का स्वरूप हैं।
अयोध्या में राम मंदिर के भूमि पूजन में निमंत्रण न मिलने के कारण भले ही कांग्रेस दूर रही हो लेकिन सोशल मीडिया के ज़रिये कांग्रेस ने यह साबित करने की कोशिश की कि वह पूरी तरह राम मंदिर निर्माण के साथ खड़ी है.
राहुल गाँधी ने ट्वीट के जरिये राम के प्रति आस्था दिखते हुये सरकार को आइना भी दिखा दिया कि राम का अर्थ क्या है ,उन्होंने लिखा "मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान राम सर्वोत्तम मानवीय गुणों का स्वरूप हैं।वे हमारे मन की गहराइयों में बसी मानवता की मूल भावना हैं, राम प्रेम हैं, वे कभी घृणा में प्रकट नहीं हो सकते, राम करुणा हैं वे कभी क्रूरता में प्रकट नहीं हो सकते, राम न्याय हैं, वे कभी अन्याय में प्रकट नहीं हो सकते।"
प्रियंका गाँधी पहले ही राम मंदिर निर्माण के समर्थन में उतर चुकी हैं,पार्टी के शीर्ष नेतृत्व की आवाज़ में आवाज़ मिलाते हुये अशोक गहलोत ,शशि थरूर ने मोदी सरकार से सवाल किया " न प्रेम सीखा ,न त्याग सीखा है ,न करुणा सीखी है ,न अनुराग सीखा है.
खुद को राम से बड़ा दिखा कर खुश होने वालो तुमने राम चरित मानस का कौन सा भाग सीखा है " मनीष तिवारी ने रघुपति राघव राजा राम... , ईश्वर ,अल्लाह तेरो नाम ,सब को सन्मति दे भगवान " इन नेताओं के अलावा कांग्रेस के दूसरे नेता भी मंदिर निर्माण के समर्थन में खड़े नज़र आये
लेकिन तमिलनाडु और केरल से विरोधी स्वर उभरे परन्तु पार्टी नेतृत्व ने उनको वहीं दवा दिया क्योंकि पार्टी समझ चुकी है कि बहुसंख्यक का विरोध कर इन हालातों में राजनीति संभव नहीं है. 2014 की पराजय के बाद ए के एंटोनी ने हिन्दू विरोधी पार्टी की छवि को लेकर कड़ी टिप्पणी की थी कि तुष्टिकरण से कांग्रेस दूर होती जा रही है ,भारत में हिन्दू विरोधी बनकर राजनीति संभव नहीं ,उसके बाद से नेतृत्व विचार करता रहा उसी का परिणाम है कि आज देश के साथ कांग्रेस भी राम मयी हो गयी।