पंजाब: मंत्रियों ने सरकार की आलोचना पर कांग्रेस सांसद प्रताप सिंह बाजवा और शमशेर सिंह दुलो को पार्टी से निकालने की मांग की, जानें क्या है पूरा मामला
By भाषा | Published: August 6, 2020 09:13 PM2020-08-06T21:13:55+5:302020-08-06T21:13:55+5:30
राज्यसभा सांसद प्रताप सिंह बाजवा और शमशेर सिंह दुलो ने पंजाब की हालिया जहरीली शराब मामले को लेकर अपनी ही पार्टी की सरकरार की आलोचना की थी।
चंडीगढ़। पंजाब के कैबिनेट मंत्रियों ने हालिया जहरीली शराब मामले में राज्य सरकार की आलोचना को लेकर गुरुवार को राज्यसभा सदस्यों प्रताप सिंह बाजवा और शमशेर सिंह दुलो को तत्काल कांग्रेस से निष्कासित करने की मांग की। मंत्रियों ने एक प्रेस बयान में सांसदों के आचरण को 'घोर अनुशासनहीनता' बताया और कहा कि उनके लिए पार्टी का कोई 'महत्व' नहीं बचा है। मंत्रियों ने कहा कि उन्हें बिना किसी देरी के बाहर निकालने की जरूरत है।
पंजाबकांग्रेस के प्रमुख सुनील जाखड़ ने दो दिन पहले कहा था कि वह पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखेंगे कि उनके खिलाफ 'अनुशासनहीनता' को लेकर सख्त कार्रवाई की जाए।
राज्यसभा के दोनों सदस्यों ने हालिया जहरीली शराब मामले को लेकर अपनी ही पार्टी की सरकरार की आलोचना की थी। उस हादसे में 113 लोगों की मौत हो गयी थी।
मंत्रियों ने कहा कि अनुशासनहीनता किसी भी समय बर्दाश्त नहीं की जा सकती है। राज्य में विधानसभा चुनाव में दो साल से भी कम समय रह गया है। उन्होंने कहा कि ऐसा प्रतीत होता है कि सांसद के रूप में अपना काम करने के बजाय उनका इरादा अपनी सरकार को ही 'अस्थिर' करना है।
As regards the allegation pertaining to the drug case, Partap Singh Bajwa had on record been asking for probe by CBI and Enforcement Directorate especially against Bikram Majithia: Congress Rajya Sabha MPs Partap Singh Bajwa and Shamsher Singh Dullo in a statement (1/2) https://t.co/HsZmoGwqYW
— ANI (@ANI) August 6, 2020
मंत्रियों ने कहा कि पार्टी और सरकारी मंचों को दरकिनार कर तथा राज्यपाल से संपर्क कर दोनों सांसदों ने न केवल लोकतांत्रिक शासन के मूल तत्व पर हमला बोला है, बल्कि पंजाब पुलिस को भी कमतर करने की कोशिश की है।
मंत्रियों ने कहा कि दोनों सांसदों ने राज्यसभा में राज्य के हित के किसी भी मुद्दे को उठाने की 'जहमत' नहीं उठाई। उन्होंने कहा कि दोनों नेताओं ने अकाली शासन के दौरान मादक पदार्थों के मुद्दे की ईडी जांच पूरी करने के लिए क्यों नहीं दबाव डाला?