Cyclone Nisarga: खुले में पड़ा गेहूं बर्बाद, नरोत्तम मिश्रा बोले- सरकार खरीदेगी, कमलनाथ ने कहा-सारे दावे हवा-हवाई, जमीन पर कुछ नहीं

By शिवअनुराग पटैरया | Published: June 5, 2020 04:08 PM2020-06-05T16:08:05+5:302020-06-05T16:08:05+5:30

प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने एक बयान में प्रदेश की शिवराज सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार की लापरवाही से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदा गया, खुले आसमान के नीचे पड़ा लाखों मीट्रिक टन गेहूं भीग गया है, खराब हो गया है.

Madhya Pradesh Cyclone Nisarga waste wheat Narottam Mishra said Government will buy, Kamal Nath all claims are air, nothing on land | Cyclone Nisarga: खुले में पड़ा गेहूं बर्बाद, नरोत्तम मिश्रा बोले- सरकार खरीदेगी, कमलनाथ ने कहा-सारे दावे हवा-हवाई, जमीन पर कुछ नहीं

गेहूं को लेकर  उपार्जन केंद्रों पर पहुंचे किसानों का गेहूं यदि बारिश में भीगा गया है तो वह भी सरकार खरीदेगी. 

Highlightsदेश भर में निसर्ग तूफान की चेतावनी व प्रदेश के कई हिस्सों में भारी बारिश की चेतावनी को भी सरकार ने नजरअंदाज किया.प्रदेश के कई जिलों में पिछले 2 दिन से जारी बारिश से खुले में पड़ा यह लाखों मीट्रिक टन गेहूं व चना भीग गया.

भोपालः निसर्ग तूफान के असर के कारण पिछले 2 दिनों से राज्य के अधिकांश हिस्सों में हुई बरसात के कारण खुले में रखा किसानों और सरकार का गेहूं भीगकर खराब होंने की स्थिति में पहुंच गया है.

इसके साथ ही गेहूं खरीदी के लिए सरकारी उपार्जन केन्द्रों पर लाइन में लगे किसानों का गेहूं भी भीग गया है. भीगे गए गेहूं की खरीदी उपार्जन केन्द्रों पर नहीं हो रही है. वही राज्य के गृह मंत्री डा. नरोत्तम मिश्रा का कहना है कि सरकार किसानों का भीगा हुआ गेहूं भी खरीदेगी.

निसर्ग तूफान के कारण खुले में पड़े गेहूं खराब होने को लेकर प्रदेश में राजनीति प्रारंभ हो गई है. प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने एक बयान में प्रदेश की शिवराज सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि सरकार की लापरवाही से न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदा गया, खुले आसमान के नीचे पड़ा लाखों मीट्रिक टन गेहूं भीग गया है, खराब हो गया है.

जिससे करोड़ों का नुकसान हुआ है, बड़ी बर्बादी हुई है. देश भर में निसर्ग तूफान की चेतावनी व प्रदेश के कई हिस्सों में भारी बारिश की चेतावनी को भी सरकार ने नजरअंदाज किया, जिससे यह नुकसान हुआ है, इसकी जिम्मेदार सरकार है.

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने राज्य सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि देश में निसर्ग तूफान की चेतावनी और उसके कारण मध्य प्रदेश के कई जिलों में भारी बारिश की चेतावनी के बावजूद इस लाखों मीट्रिक टन गेहूं के परिवहन व भंडारण की सरकार ने कोई व्यवस्था नहीं. इन्हें सुरक्षित गोदामों व वेयर हाउस तक नहीं पहुंचाया गया.

प्रदेश के कई जिलों में पिछले 2 दिन से जारी बारिश से खुले में पड़ा यह लाखों मीट्रिक टन गेहूं व चना भीग गया, खराब हो गया. इससे करोड़ों रुपए की बबार्दी हुई, इसकी जवाबदार सरकार है. जिसने समय पर मिली तमाम चेतावनियो को भी नजरअंदाज किया, जमकर लापरवाही बरती.

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि हम सरकार से मांग करते है कि जब तक सभी किसानों का पूरा गेहूं नहीं खरीद लिया जाता, तब तक खरीदी चालू रहे. खरीदी केंद्रों पर जो खरीदी बंद पड़ी है, उसे चालू किया जावे, खरीदी केंद्रों पर बारदानों की कमी दूर की जावे, अव्यवस्थाओं को दूर किया जावे.

बारिश में भीगा किसान का गेहूं भी खरीदा जावे. आपने कहा कि जिन किसानों की खरीदी केंद्रों पर उपज बेचने के दौरान अभी तक मौत हुई है, उनके परिवार को एक-एक करोड़ का मुआवजा दिया जावे. गृह मंत्री डा. नरोत्तम मिश्रा ने पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के आरोपों का जबाव देते हुए कहा प्रदेश इधर, गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा प्रदेश में गेहूं की खरीदी बंद हो चुकी है. जो 5-6 जिले कोरोना से ज्यादा प्रभावित हैं. वहां खरीदी की अवधि बढ़ाई गई थी वह भी आज शाम समाप्त हो जाएगी. गेहूं को लेकर  उपार्जन केंद्रों पर पहुंचे किसानों का गेहूं यदि बारिश में भीगा गया है तो वह भी सरकार खरीदेगी. 

Web Title: Madhya Pradesh Cyclone Nisarga waste wheat Narottam Mishra said Government will buy, Kamal Nath all claims are air, nothing on land

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