RTI में खुलासाः हरियाणा के गवर्नर सत्यदेव नारायण आर्य, सीएम खट्टर सहित कई मंत्री के पास नागरिकता के सबूत नहीं
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: March 5, 2020 01:30 PM2020-03-05T13:30:32+5:302020-03-05T13:30:32+5:30
मुख्यमंत्री सचिवालय शाखा के पास सीएम मनोहर लाल और उनकी सरकार के कैबिनेट मंत्रियों और राज्यपाल की नागरिकता से जुड़े कोई सुबूत नहीं है। इसका खुलासा एक आरटीआई में हुआ है।
चंडीगढ़: हरियाणा के राज्यपाल सत्यदेव नारायण आर्य, मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और राज्य के कई मंत्री के पास नागरिकता सबूत नहीं है। सूचना का अधिकार (RTI) कानून के तहत खुलासा हुआ है।
मुख्यमंत्री सचिवालय शाखा के पास सीएम मनोहर लाल और उनकी सरकार के कैबिनेट मंत्रियों और राज्यपाल की नागरिकता से जुड़े कोई सुबूत नहीं है। इसका खुलासा एक आरटीआई में हुआ है। पानीपत के समालखा कस्बे के आरटीआई कार्यकर्ता पीपी कपूर ने इस संबंध में आरटीआई लगाई थी। इस RTI में उन्हें जो जवाब मिला, वह काफी हैरान करने वाला था।
पीपी कपूर ने मुख्यमंत्री सचिवालय हरियाणा में 20 जनवरी 2020 को आरटीआई लगाई थी। इसमें जानकारी मांगी गई थी कि हरियाणा के राज्यपाल, सीएम मनोहर लाल इनके सभी मंत्रिमंडल के सहयोगी मंत्रियों के नागरिकता प्रमाण पत्र। भारतीय नागरिक होने के सुबूत के रिकॉर्ड की सत्यापित प्रति उपलब्ध करवाई जाए।
मुख्यमंत्री सचिवालय की राज्य जन सूचना अधिकारी एवं अधीक्षक पूनम राठी ने इसका जवाब देते हुए कहा है कि उनकी शाखा के पास ऐसा कोई रिकॉर्ड उपलब्ध नहीं है। उनके द्वारा मांगी गई जानकारी निर्वाचन आयोग के पास उपलब्ध हो सकती है। ऐसे में इस बारे में निर्वाचन आयोग से पत्राचार करें। राज्य में विधानसभा चुनाव से पहले प्रचार करते हुए मनोहर लाल खट्टर ने कहा था कि वे हरियाणा में एनआरसी लागू करेंगे।
पी.पी. कपूर की RTI में हरियाणा की पब्लिक इंफॉर्मेशन ऑफिसर पूनम राठी ने कहा कि उनके रिकॉर्ड में इस संबंध में कोई जानकारी नहीं है। उन्होंने कहा, 'माननीयों के नागरिकता संबंधी दस्तावेज चुनाव आयोग के पास हो सकते हैं।' बताते चलें कि पिछले साल सितंबर में विधानसभा चुनाव के दौरान मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने वादा किया था कि वह अवैध प्रवासियों को हरियाणा से निकालने के लिए राज्य में राष्ट्रीय नागरिक पंजी (NRC) लागू करेंगे।