चेन्नई, 5 मई। पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा और भाजपा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने शु्क्रवार को द्रविड़ मुनेत्र कड़गम (डीएमके) के कार्यकारी अध्यक्ष एमके स्टालिन से चेन्नई में मुलाकात की है। इस मुलाकात के बाद से राजनीतिक आकलन शुरू हो गए हैं।
फिलहाल शत्रुघ्न सिन्हा भारतीय जनता पार्टी से सांसद हैं, जबकि यशवंत सिन्हा ने 21 अप्रैल को ही बीजेपी छोड़ी है। दोनों ही नेता केंद्र सरकार और प्रधानमंत्री की कड़ी आलोचना करते रहे हैं। शत्रुघ्न अक्सर अपने बयानों के कारण सुर्खियों में रहते हैं। ऐसे में अब इस मुलाकात के बाद कयास लगाया जा रहा है कि तीस के मोर्चे के गठन के उद्देश्य से की गई है।
इतना ही नहीं इससे पहले इन दोनों नेताओं ने ममता बनर्जी और कई दूसरे नेताओं से भी मुलाकात की हुई है और मजबूत तीसरे मोर्चे के भी हिमायती रहे हैं। वहीं, तेलंगाना के सीएम के चंद्रशेखर राव भी स्टालिन से तीसरे मोर्चे के गठन को लेकर मुलाकात कर चुके हैं। जबकि 21 अप्रैल को यशवंत सिन्हा ने बीजेपी को छोड़ दिया है। पार्टी छोड़ने के बाद उन्होंने कहा था कि लोकतंत्र खतरे में है और अगर वो अब भी ना बोले तो आने वाली पीढ़ियां उन्हें माफ नहीं करेंगी।
उन्होंने खुलकर मोदी की ओलचना की थी। वहीं शत्रुघ्न सिन्हा मोदी विरोधी हर एक नेता की जमकर तारीफ करते रहे हैं, चाहे वो केजरीवाल हो या तेजस्वी यादव। फिलहाल इस मीटिंग का क्या आशय था ये सामने नहीं आ पाया है लेकिन कई तरह के कयास फिलहाल लगाए जा रहे हैं।