J&K: डर के कारण कश्मीर से पलायन करने लगे प्रवासी मजदूर
By लोकमत न्यूज़ डेस्क | Published: October 18, 2021 12:37 PM2021-10-18T12:37:32+5:302021-10-18T12:46:16+5:30
इस महीने की शुरूआत से कश्मीर में अब तक 11 नागरिकों की आतंकवादियों ने हत्या कर दी है। इसमें गैर कश्मीरी लोग भी शामिल हैं। रविवार को दो गैर कश्मीरी नागरिकों की आतंकवादियों ने हत्या कर दी।
कश्मीर से प्रवासी मजदूरों का पलायन जारी है। श्रीनगर में आतंकवादियों के द्वारा गैर कश्मीरी लोगों की हुई टारगेटेड किलिंग (चयनित हत्या) के बाद यहां से प्रवासी मजदूरों का पलायन होने लगा है। राजस्थान के एक प्रवासी मजदूर ने कहा कि, यहां हालात बुरे हैं। हमें डर है, हमारे साथ बच्चे हैं इसलिए हम वापस अपने शहर जा रहे हैं।
J&K: A group of migrant workers leaves from Kashmir's Srinagar after recent incidents of targeted killings of non-Kashmiris by terrorists
— ANI (@ANI) October 18, 2021
"Situation is getting bad here. We're scared, we've children with us & hence going back to our hometown," says a migrant from Rajasthan pic.twitter.com/lcdUosH9eB
रविवार को दो गैर कश्मीरी की हुई हत्या
बता दें कि बीते रविवार को आतंकियों ने दो गैर कश्मीरी लोगों की हत्या कर दी। वहीं शनिवार को भी दो नागरिकों की हत्या हुई थी। इस महीने की शुरूआत से यहां अब तक 11 नागरिकों की आतंकवादियों ने हत्या कर दी है। इससे पहले श्रीनगर के सनगाम ईदगाह के पास स्थित एक विद्यालय में प्रिंसीपल सुपिन्दर कौर और टीचर दीपक चंद की आतंकवादियों ने हत्या कर दी गई थी।
कश्मीर में डर का माहौल
वहीं टारगेटेड किलिंग के बाद जम्मू और कश्मीर का माहौल एक बार फिर से बिगड़ गया है। इन हिंसक घटनाओं को लेकर कई सवाल उमड़ रहे हैं। लोग पूछ रहे हैं कि क्या राज्य के हालात फिर से 90 के दशक जैसे हो रहे हैं? यहां गैर कश्मीरी और अल्पसंख्यक लोगों का पलायन एक बार फिर से शुरू हो गया है।
आतंकियों की हिट लिस्ट में हैं ये लोग
खुफिया जानकारी है कि आईएसआई ने 200 लोगों की हिट लिस्ट तैयार की है। इनमें कश्मीरी पंडित, नेता, मीडियाकर्मी, उद्योगपतियों से लेकर गैर-स्थानीय लोग शामिल हैं। दरअसल टारगेटेड किलिंग आतंकियों के लिए आसान होती है। आतंकी अपने टारगेट की पहले से ही जानकारी जुटा लेते हैं, ऐसे में आतंकियों के लिए ये सॉफ्ट टारगेट होता है।
अब तक मारे गए नागरिक
माजिद अहमद गोजरी और मोहम्मद शफी डार की आतंकवादियों ने दो अक्टूबर हत्या की थी। इसके बाद बिहार के रहने वाले वीरेंद्र पासवान को आतंकियों ने अपना निशाना बनाया। ऐसे ही मोहम्मद शफी लोन, माखन लाल, दीपक चंद, सुपिन्दर कौर, सगीर अहमद, अरविंद कुमार साह, जोगिंदर देव और राजा देव की हत्या आतंकवादियों ने की।