Ram Gopal Yadav on CO Anuj chaudhary: उत्तर प्रदेश के संभल कोतवाली पुलिस थाने में शांति समिति की बैठक में पुलिस क्षेत्राधिकारी (सीओ) अनुज चौधरी ने कहा कि अगर किसी को लगता है कि होली के रंग से उसका धर्म भ्रष्ट होता है तो वह उस दिन घर से ना निकले। शांति समिति की यह बैठक होली के त्योहार और रमजान माह में शांति सौहार्द बनाए रखने के उद्देश्य से हुई। चौधरी ने बैठक में दोनों समुदायों के लोगों से एक-दूसरे की भावनाओं का सम्मान करने का आग्रह किया। जिस प्रकार से मुस्लिम बेसब्री से ईद का इंतजार करते हैं, ठीक उसी तरह हिंदू होली की प्रतीक्षा करते हैं।
होली का त्यौहार 14 मार्च को है और इसी दिन जुमा की नमाज भी होगी। अधिकारी ने कहा, “ होली का दिन वर्ष में एक बार आता है, जबकि जुमा साल में 52 बार आता है। अगर किसी को लगता है होली के रंग से उसका धर्म भ्रष्ट होता है तो वह उस दिन घर से ना निकले।” इस बीच चौधरी के बयान के बाद उत्तर प्रदेश में राजनीति तेज हो गई है।
उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के चाचा और सपा सांसद राम गोपाल यादव खफा दिखे। प्रो. यादव ने कहा कि ऐसे अधिकारी को जेल में डालेंगे। उत्तर प्रदेश में सरकार बनते ही इनका बुरा हाल होगा। संभल के सीओ चौधरी पर राम गोपाल ने कई कमेंट किए।
संभल में अगले जुमे को होली के दिन नमाज ढाई बजे के बाद
होली के त्यौहार से पहले, संभल में पीएसी की सात कंपनियां तैनात की गई हैं, शुक्रवार को एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने इसकी जानकारी दी। अधिकारी ने कहा, ‘‘14 मार्च को जुमे की नमाज दोपहर 2.30 बजे के बाद होगी, और हिंदू समुदाय के लोग दोपहर 2.30 बजे तक होली खेलेंगे।’’ पुलिस अधीक्षक कृष्ण कुमार ने शुक्रवार को संवाददाताओं को बताया कि होली और रमजान के पहले शुक्रवार को देखते हुए संभल में पीएसी की सात कंपनियां तैनात की गई हैं। पुलिस चौकियों का निरीक्षण किया जा रहा है, सत्यव्रत पुलिस चौकी पर एक एंटीना लगाया गया है।
ऊंचाई पर स्थित होने के कारण इस पर जिला नियंत्रण कक्ष बनाया जा रहा है। उन्होंने बताया कि जिले में पूरी तरह से शांति है, मोहल्ला स्तर पर शांति समिति की बैठकें आयोजित की जा रही हैं। शांति समिति की बैठक में होली और जुमे की नमाज को लेकर क्या चर्चा हुई, यह पूछे जाने पर एसपी ने बताया, "जिला स्तरीय शांति समिति की बैठक में दोनों पक्षों के प्रमुख लोगों से बातचीत की गई।
तय किया गया कि अगले जुमे की नमाज दोपहर 2.30 बजे के बाद होगी और हिंदू समुदाय के लोग दोपहर 2.30 बजे तक होली खेलेंगे और अपने घर चले जाएंगे।" उन्होंने बताया कि संभल जिले की पुलिस सोशल मीडिया पर कड़ी नजर रख रही है और लोगों को किसी भी तरह की अफवाह पर विश्वास नहीं करना चाहिए।
उन्होंने कहा, "अगर कोई अफवाह है तो पुलिस को सूचित करें, ताकि समय रहते उसका खंडन किया जा सके। मैं सभी से अपील करूंगा कि किसी भी तरह की अफवाह पर विश्वास न करें।" संभल के जिलाधिकारी राजेंद्र पेंसिया ने शुक्रवार को पत्रकारों को बताया कि संभल शहर को छह जोन और 29 सेक्टरों में बांटा गया है। सभी सेक्टरों में मजिस्ट्रेट तैनात किए गए हैं।
थाना स्तर और जिला स्तर पर शांति समिति की बैठकें हो चुकी हैं। उन्होंने कहा कि दोनों पक्षों ने कहा है कि वे दोनों त्योहार अच्छे से मनाएंगे। जब उनसे पूछा गया कि क्या होली के कारण मस्जिदों पर तिरपाल लगाया जाएगा, तो उन्होंने कहा, "हमारी तरफ से ऐसी कोई योजना नहीं है। अगर पक्षकार खुद तय करते हैं, तो वे उन्हें ढक सकते हैं।
दोनों पक्षों ने कहा है कि वे दोनों त्योहार बहुत सद्भाव, समन्वय और शांति के साथ मनाएंगे।" इस बीच, बृहस्पतिवार को संभल में तैनात एक पुलिस अधिकारी ने कहा था कि होली के रंगों से असहज लोगों को घर के अंदर रहना चाहिए क्योंकि यह त्योहार साल में एक बार आता है, जिसकी विपक्षी दलों ने आलोचना की और उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हुए कहा कि उनकी टिप्पणी "पक्षपात पूर्ण'' दिखाती है और एक अधिकारी को शोभा नहीं देती। आगामी होली त्योहार के मद्देनजर बृहस्पतिवार को संभल कोतवाली पुलिस स्टेशन में शांति समिति की बैठक हुई थी।
बैठक के बाद संभल के सर्किल ऑफिसर (सीओ) अनुज चौधरी ने संवाददाताओं से कहा था, "होली एक ऐसा त्योहार है जो साल में एक बार आता है, जबकि जुमे की नमाज साल में 52 बार होती है। अगर किसी को होली के रंगों से असहजता महसूस होती है, तो उन्हें उस दिन घर के अंदर रहना चाहिए। जो लोग बाहर निकलते हैं, उन्हें व्यापक सोच रखनी चाहिए, क्योंकि त्योहारों को मिलजुल कर मनाना चाहिए।"
उन्होंने सांप्रदायिक सौहार्द और कानून-व्यवस्था बनाए रखने के लिए कड़ी निगरानी की जरूरत पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि शांति समिति की बैठकें एक महीने से विभिन्न स्तरों पर चल रही हैं, ताकि त्योहारों को सुचारू रूप से मनाया जा सके। चौधरी ने दोनों समुदायों से एक-दूसरे की भावनाओं का सम्मान करने का आग्रह किया और लोगों से उन लोगों पर जबरन रंग लगाने से बचने की भी अपील की।
जो इसमें भाग नहीं लेना चाहते हैं। उन्होंने कहा, "जिस तरह मुसलमान ईद का बेसब्री से इंतजार करते हैं, उसी तरह हिंदू होली का इंतजार करते हैं। लोग रंग लगाकर, मिठाइयां बांटकर और खुशियां बांटकर जश्न मनाते हैं। इसी तरह ईद पर लोग खास व्यंजन बनाते हैं और जश्न मनाते हुए एक-दूसरे से गले मिलते हैं। दोनों त्योहारों का सार एकजुटता और आपसी सम्मान है।"