कोविड-19ः केंद्र सरकार ने समयसीमा घटाई, अब नौ की जगह छह महीने बाद ही लगवा सकते हैं वैक्सीन
By सतीश कुमार सिंह | Published: July 6, 2022 05:38 PM2022-07-06T17:38:15+5:302022-07-06T17:39:26+5:30
टीकाकरण पर राष्ट्रीय तकनीकी सलाहकार समूह (एनटीएजीआई) के सदस्यों ने कोविड-19 टीकों की दूसरी और एहतियाती खुराक के बीच के अंतर पर सहमति व्यक्त की थी।
नई दिल्लीः केंद्र सरकार ने बूस्टर डोज की समयसीमा घटा दी है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने 18 साल से ऊपर के लोगों के लिए प्रीकॉशन डोज के अंतर को 9 महीने से घटाकर 6 महीने कर दिया है। टीकाकरण पर राष्ट्रीय तकनीकी सलाहकार समूह (एनटीएजीआई) के सदस्यों ने कोविड-19 टीकों की दूसरी और एहतियाती खुराक के बीच के अंतर पर सहमति व्यक्त की थी।
Union Health Ministry reduces gap for COVID-19 precaution doses from existing 9 months to 6 months for those above 18 years pic.twitter.com/s7YmO3SwZh
— ANI (@ANI) July 6, 2022
एनटीएजीआई की स्थायी तकनीकी उप-समिति (एसटीएससी) की बैठक में प्राथमिक टीकाकरण में लगाए गए कोविड रोधी टीके से अलग टीके की एहतियाती खुराक के तौर पर इस्तेमाल की व्यवहार्यता को लेकर वेल्लोर में क्रिश्चियन मेडिकल कॉलेज (सीएमसी) द्वारा किए गए एक अध्ययन के निष्कर्षों की भी समीक्षा की थी।
समिति ने 6-12 आयु वर्ग के लिए कोवैक्सीन और कॉर्बेवैक्स टीकों के आंकड़ों की भी समीक्षा की। सूत्र ने कहा, “सदस्यों ने कहा कि बच्चों में कोविड के बोझ और मृत्यु दर के आंकड़े इतने मजबूत नहीं हैं कि 12 साल से कम उम्र के बच्चों का टीकाकरण शुरू करने का कोई फैसला लिया जा सके।”
भारत के औषधि नियामक ने इस साल अप्रैल में बायोलॉजिकल ई के कोविड-19 टीके कॉर्बेवैक्स को पांच से 12 साल की उम्र के बच्चों के लिए और भारत बायोटेक के कोवैक्सीन को छह से 12 साल के बच्चों के लिए आपातकालीन उपयोग प्राधिकरण को मंजूरी दी थी। वर्तमान में, 18 वर्ष से अधिक आयु के सभी लोग, जिन्हें दूसरी खुराक लिए नौ महीने पूरे हो गए हैं, एहतियाती खुराक के लिए पात्र हैं।