कश्मीर घाटी में कड़ाके की सर्दी से लोगों को खास राहत नहीं

By भाषा | Published: January 20, 2021 01:59 PM2021-01-20T13:59:25+5:302021-01-20T13:59:25+5:30

There is no special relief to people from the harsh winter in Kashmir valley | कश्मीर घाटी में कड़ाके की सर्दी से लोगों को खास राहत नहीं

कश्मीर घाटी में कड़ाके की सर्दी से लोगों को खास राहत नहीं

श्रीनगर, 20 जनवरी कश्मीर घाटी में बुधवार को भी लोगों को कड़ाके की सर्दी से कुछ खास राहत नहीं मिल पाई क्योंकि कई हिस्सों में तापमान शून्य से कई डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया।

मौसम विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि श्रीनगर शहर में न्यूनतम तापमान शून्य से छह डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया। मंगलवार रात शहर में दर्ज न्यूनतम तापमान इस मौसम के सामान्य तापमान से चार डिग्री सेल्सियस कम था।

उत्तरी कश्मीर के मशहूर स्की रिजॉर्ट गुलमर्ग में न्यूनतम तापमान मंगलवार रात 6.5 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जबकि सोमवार रात यहां तापमान शून्य से 6.3 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया था।

पर्यटन स्थल पहलगाम में भी हाड़ कंपा देने वाली ठंड पड़ रही है और यहां तापमान शून्य से 8.3 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया। वहीं काजीगुंड जम्मू-कश्मीर का सबसे ठंडा स्थान रहा और यहां तापमान शून्य से 8.7 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया।

अधिकारियों ने बताया कि उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा में तापमान शून्य से 5.8 डिग्री सेल्सियस नीचे जबकि दक्षिणी कश्मीर के कोकरनाग में तापमान शून्य से 7.9 डिग्री सेल्सियस नीचे दर्ज किया गया।

कड़ाके की सर्दी की वजह से घाटी के कई जलाशयों की सतहें जम गई हैं। श्रीनगर और घाटी के अन्य हिस्सों में कई मार्गों पर बर्फ की मोटी परत बिछी हुई है, जिससे यातायात प्रभावित है। हल्की धूप की वजह से घाटी की स्थिति में थोड़ा सुधार हुआ है।

मौसम विभाग ने पूर्वानुमान में बताया है कि 22 जनवरी से कुछ दिन तक केंद्र शासित प्रदेश पश्चिमी विक्षोभ की वजह से प्रभावित रहेगा।

कश्मीर अभी चिल्लई-कलां की चपेट में है। यह 40 दिन की अवधि है, जिसमें कड़ाके की सर्दी पड़ती है और घाटी शीत लहर की चपेट में होती है तथा तापमान शून्य से कई डिग्री सेल्सियस नीचे चला जाता है। ऐसी स्थिति में यहां के जलाशयों और जल पाइपलाइन में पानी जमने लगता है। वहीं इस अवधि में बर्फबारी की संभावना खास तौर पर ऊंचाई वाले क्षेत्रों में सर्वाधिक होती है। चिल्लई कलां 31 जनवरी को खत्म होगा।

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Web Title: There is no special relief to people from the harsh winter in Kashmir valley

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